लाइफस्टाइल हेल्थ

Workout के साथ खुद को समझना भी है जरूरी, रिसर्च में हुआ बड़ा खुलासा

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Workout: आजकल की दिनचर्या को देखते हुए लोग अपनी फिटनेस पर काफी ज्यादा फोकस करते हैं और इसके लिए अलग अलग तरीके से प्लान भी करते हैं। अगर आप भी अपनी फिटनेस को लेकर सतर्क रहते हैं तो ये खबर सिर्फ आपके लिए है। एक शोध में व्यायाम के साथ माइंडफुलनेस को जोड़ने का सुझाव दिया गया है। जर्नल मेंटल हेल्थ एंड फिजिकल एक्टिविटी में प्रकाशित अध्ययन से पता चलता है कि, लाइफ में होने वाले परिवर्तन जो शारीरिक गतिविधि और जागरूकता दोनों को जोड़ते हैं। मूड को बेहतर बनाने में सबसे ज्यादा प्रभावी होते हैं। शारीरिक गतिविधि और जागरूकता दोनों के मनोवैज्ञानिक फायदे भी हैं।

सकारात्मक प्रभाव बढ़ाया जा सकता

यूके में बाथ विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने बताया कि, मौजूदा शोध अध्ययनों की समीक्षा करके ये दिखाने वाला पहला अध्ययन है कि, दोनों को मिलाने पर सकारात्मक प्रभाव को कैसे बढ़ाया जा सकता है।

भावनाओं पर काबू पाया जा सकता है

परिणामों से पता चला कि, माइंडफुलनेस, व्यायाम को अनलॉक करने में मदद कर सकता है। जिससे लोगों को व्यायाम शुरू करने के लिए प्रेरित किया जा सकता है। साथ ही व्यायाम कठिन होने पर मामूली दर्द, परेशानी या विफलता की भावनाओं पर भी काबू पाया जा सकता है। ये भी पढ़ें: Health: सीने में हो रहे दर्द को ना करें नजरअंदाज, कहीं ये Heart Attack के लक्षण तो नहीं विश्वविद्यालय के स्वास्थ्य विभाग में व्यवहार परिवर्तन, जागरूकता और व्यायाम की विशेषज्ञ माशा रेम्सकर ने कहा है कि, अधिक व्यायाम करने के संकल्प के साथ शुरुआत करने से वास्तव में सकारात्मक शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य लाभ हो सकते हैं। लेकिन हम जानते हैं कि, शुरुआत करना कठिन हो सकता है और समय के साथ उस पर टिके रहना भी मुश्किल हो सकता है।' माइंडफुलनेस एक दृष्टिकोण है जो हमें व्यायाम करने के लिए आवश्यक मनोवैज्ञानिक शक्तियों को प्रशिक्षित करने और हमारे शरीर के साथ अधिक तालमेल बिठाने में मदद कर सकता है। ये व्यायाम करने को और भी ज्यादा दिलचस्प बना सकता है और इसके लाभों को पहचानने में मदद कर सकता है। (अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर(X) पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)