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Farmers Protest: खत्म हुई डेडलाइन...आज से दिल्ली कूच करेंगे किसान, शंभू बॉर्डर पर बढ़ा तनाव

Farmers Protest, चंडीगढ़ः MSP को लेकर कानून की मांग कर रहे किसान संगठन बुधवार से फिर दिल्ली कूच करेंगे। किसान संगठनों की ओर से सरकार के साथ बातचीत विफल होने के बाद यह फैसला लिया गया है। जिसको लेकर शंभू बॉर्डर पर तनाव बढ़ गया है। हालांकि कृषि मंत्री अर्जन मुंडा ने किसानों से शांति बनाए रखने की अपील की है। इससे पहले पंजाब और हरियाणा पुलिस के बीच रात भर पत्राचार होता रहा। हरियाणा पुलिस ने शंभू बॉर्डर से लेकर दिल्ली तक 40 जगहों पर बैरिकेड्स लगाए हैं। करीब सात हजार पुलिसकर्मी तैनात किये गये हैं। वहीं किसान कंक्रीट और बैरिकेडिंग को तोड़ने के लिए भारी बख्तरबंद मशीनरी के साथ शंभू बॉर्डर पर पहुंच गए हैं।

किसानों के ट्रैक्टर ट्रॉली पर हाई कोर्ट ने जताई आपत्ति

दरअसल पंजाब और हरियाणा हाई कोर्ट ने मंगलवार को किसानों के ट्रैक्टर ट्रॉली पर सवार होकर दिल्ली जाने पर आपत्ति जताई थी। हाई कोर्ट की टिप्पणी के बाद देर रात हरियाणा के पुलिस महानिदेशक ने आईजी लॉ एंड ऑर्डर के माध्यम से पंजाब पुलिस को पत्र लिखा। पत्र में हाईकोर्ट की टिप्पणियों का हवाला देते हुए शंभू और खनौरी बॉर्डर से किसानों की भीड़ हटाने और जेसीबी, क्रेन और पोकलेन हटाने को कहा गया है। [caption id="attachment_761925" align="alignnone" width="700"]farmers-protest National[/caption] ये भी पढ़ें..दिग्गज वकील और पूर्व ASG फली एस. नरीमन का निधन, पीएम मोदी ने जताया शोक

किसान संगठनों ने सुबह बुलाई बैठक

हरियाणा कोर्ट ने कहा है कि अगर किसान चाहें तो सार्वजनिक परिवहन की मदद से दिल्ली जा सकते हैं। लेकिन उन्हें इन वाहनों से दिल्ली जाने की इजाजत नहीं होगी। कोर्ट के पत्र के बाद पंजाब पुलिस महानिदेशक ने बुधवार सुबह पुलिस और किसान संगठनों को पत्र लिखकर बॉर्डर से जेसीबी, क्रेन और पोकलेन हटाने के निर्देश दिए। साथ ही किसान संगठनों को बॉर्डर पर भीड़ कम करने के को भी कहा। इन सबके बीच किसान संगठनों ने कहा वे बुधवार को बैठक बुलाएंगे और दिल्ली कूच की रणनीति का ऐलान करेंगे।

पंढेर ने कहा- एमएसपी की गारंटी के लिए कानून लाया जाए

[caption id="attachment_761926" align="alignnone" width="700"]farmers-protest National[/caption] गौरतलब है कि रविवार को किसान नेताओं के साथ चौथे दौर की वार्ता में तीन केंद्रीय मंत्रियों की समिति ने प्रस्ताव रखते हुए कहा कि किसानों से समझौते के बाद सरकारी एजेंसियां पांच साल तक दलहन, मक्का और कपास एमएसपी पर खरीदेंगी। किसान मजदूर मोर्चा (Farmers Protest) का प्रतिनिधित्व कर रहे पंढेर ने कहा, ''हमारी मांग है कि एमएसपी की गारंटी के लिए एक कानून लाया जाना चाहिए। अगर प्रधानमंत्री की इच्छा हो तो संसद का एक दिवसीय सत्र बुलाया जा सकता है. कोई भी विपक्षी दल इसका विरोध नहीं करेगा। (अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर(X) पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)