नई दिल्ली: दिल्ली हाईकोर्ट ने नीट परीक्षा में बैठने के लिए न्यूनतम आयु सीमा घटाने की मांग को खारिज कर दिया है। चीफ जस्टिस डीएन पटेल की अध्यक्षता वाली बेंच ने याचिकाकर्ता पर दस हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया।
एक नाबालिग छात्र की ओर से दायर पर सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता की ओर से वकील सुरेंद्र कुमार यादव ने कहा कि आज की पीढ़ी अति बुद्धिमान है। नई पीढ़ी को ध्यान में रखते हुए न्यूनतम आयु सीमा 15 वर्ष कर देनी चाहिए। याचिका में कहा गया था कि मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया (एमसीआई) ने नोटिफिकेशन के जरिये मेडिकल की एंट्रेंस परीक्षा में शामिल होने की न्यूनतम आयु 17 वर्ष की गई है जबकि ये प्रावधान एमसीआई एक्ट में नहीं है।
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याचिका में कहा गया था कि याचिकाकर्ता की जन्म तिथि 26 जनवरी, 2006 की है। उसने अपनी दसवीं की परीक्षा 2019 में पास की और बारहवीं की परीक्षा 2021 में पास की, लेकिन वह नीट की परीक्षा के लिए वेबसाइट पर आवेदन नहीं कर पा रहा है। इससे वह मानसिक और मनोवैज्ञानिक रुप से परेशान है। याचिकाकर्ता के सहपाठी नीट-2021 की परीक्षा में शामिल हो रहे हैं, लेकिन 13 महीने की उम्र कम होने की वजह से वह परीक्षा में शामिल नहीं हो पा रहा है। ऐसा करना याचिकाकर्ता के मौलिक अधिकारों का उल्लंघन है।
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