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Gyanvapi Case: ज्ञानवापी पर हाईकोर्ट के फैसले पर संतों ने जताई खुशी, बोले- न्याय की जीत हुई

Narendranand-Saraswati Gyanvapi Case: वाराणसीः इलाहाबाद हाईकोर्ट ने गुरुवार को ज्ञानवापी परिसर में एएसआई सर्वेक्षण की अनुमति दे दी। संतों ने इस फैसले पर खुशी जताई और कहा कि न्याय की जीत हुई है। काशी सुमेरुपीठ के पीठाधीश्वर शंकराचार्य स्वामी नरेंद्रानंद सरस्वती ने कहा कि ज्ञानवापी मामले का जल्द से जल्द निपटारा होना चाहिए ताकि हिंदुओं को आदि विश्वेश्वर महादेव का जलाभिषेक करने का अवसर मिले। स्वामी नरेंद्रानंद सरस्वती ने पत्रकारों से बातचीत में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के उस बयान का समर्थन किया जिसमें उन्होंने कहा था कि सनातनी हिंदुओं को ज्ञानवापी को मस्जिद नहीं, बल्कि ज्ञानवापी कहकर संबोधित करना चाहिए। स्वामी नरेंद्रानंद ने कहा कि ज्ञानवापी भगवान शंकर की पवित्र भूमि है। इसे देखकर कोई भी बता सकता है। अब इसका फैसला जल्द से जल्द होना चाहिए, बाबा विश्वनाथ से हमारी यही कामना है। ये भी पढ़ें..MP Monsoon: एमपी में फिर सक्रिय हुआ मानसून, 24 घंटों इन... उन्होंने कहा कि सनातनी हिंदू हमेशा शांति और सद्भाव का संदेश देने का काम करता रहा है और आगे भी करता रहेगा, लेकिन भगवान शंकर की नगरी काशी और भगवान कृष्ण की नगरी मथुरा की जन्मस्थली का दर्जा उन्हें दिया जाना चाहिए। हिंदू आदर के साथ अपने देवता की पूजा कर सकते हैं। स्वामी नरेंद्रानंद ने कहा कि हम चाहते हैं कि ज्ञानवापी का मामला शांति और सद्भाव से हल हो और इसकी सच्चाई को देश का मुस्लिम समुदाय स्वीकार करें। (अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)