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Ayodhya: राम मंदिर के गर्भगृह द्वार पर स्थापित होंगी इन भगवानों की मूर्तियां

  अयोध्या: श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की मंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्रा की अध्यक्षता में शनिवार को बैठक हुई। ये बैठक प्रतिमा विज्ञान पर केंद्रित रही, जिसमें गर्भगृह के बाहर स्थापित की जाने वाली हनुमान और गणेश की मूर्तियों की लंबाई और चौड़ाई पर चर्चा की गई। बैठक से पहले नृपेंद्र मिश्रा ने अयोध्या एयरपोर्ट निर्माण और विकास कार्यों की समीक्षा की। बैठक में श्री रामलला के प्राण प्रतिष्ठा महोत्सव को लेकर भी चर्चा हुई। प्राण प्रतिष्ठा महोत्सव में देशभर से 25 हजार से अधिक रामभक्तों को बुलाने, उनके रहने-खाने आदि तमाम विषयों पर चर्चा हुई। सरयू तट पर टेंट सिटी बनाकर सभी श्रद्धालुओं के रहने की पूरी व्यवस्था की जाएगी।

नक्काशी पर विशेष ध्यान

ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने बताया कि नवंबर के अंत से ही निर्माण कार्यों को यथासंभव पूरा करने पर चर्चा चल रही है। वहीं, अगर खंभों पर नक्काशी का काम जारी रखा गया या धीमा कर दिया गया तो इसके परिणाम क्या होंगे। चर्चा के बाद नक्काशी के लिए किये जा रहे कार्यों को प्राथमिकता देने पर विचार किया गया है। इसके अलावा स्तंभों में पुरानी मूर्तियों के अलावा और कौन सी मूर्तियां बनाई जा सकती हैं, इस पर बनारस विश्वविद्यालय और लखनऊ विश्वविद्यालय के ललित कला के वर्तमान और सेवानिवृत्त प्रोफेसरों ने अपनी राय दी। उन्होंने बताया कि निर्माण समिति का मुख्य बिंदु विज्ञान प्रतिमा पर आधारित रखा गया है, जिसमें गर्भगृह के बाहर स्थापित होने वाली हनुमान और गणपति की प्रतिमा की लंबाई और चौड़ाई पर चर्चा की गई है। दाहिनी और बायीं ओर दोनों प्रतिमाएं स्थापित की जाएंगी।

तेजी से चल रहा निर्माण कार्य

उन्होंने बताया कि आज नृपेंद्र मिश्र ने उन चारों स्थानों को देखा है जहां रामलला की मूर्तियां और दरवाजे बन रहे हैं। रामलला की मूर्तियों के निर्माण की प्रगति संतोषजनक है। ट्रस्ट के सभी सदस्यों और हमें विश्वास है कि रामलला की मूर्ति अक्टूबर में बनकर तैयार हो जाएगी। बाद में सभी इस पर विचार करेंगे कि कौन सी मूर्ति अधिक सुंदर है। उन्होंने कहा कि दरवाजे बनाने का काम दिसंबर तक चलेगा क्योंकि यह बड़ा काम है। भूतल, गर्भगृह, दरवाजे और भूतल का निर्माण प्राथमिकता में है, इसका निर्माण कार्य तेजी से चल रहा है। यह भी पढ़ेंः-IBSA World Games: अंग्रेजी सरजमीं पर इतिहास रचने वाली भारतीय महिला टीम को PM मोदी ने दी बधाई मंदिर निर्माण के संदर्भ में ट्रस्ट के सदस्य डॉ. अनिल मिश्रा ने बताया कि मंदिर के ग्राउंड फ्लोर का काम अंतिम चरण में है। भूतल में मंदिर के खंभों और भीतरी परिक्रमा के फर्श में मूर्तियां बनाने का काम चल रहा है। जहां भी पार्क निर्माण से मंदिर निर्माण में बाधा नहीं आएगी, वहां पार्क का निर्माण कराया जा रहा है। पार्क का बाकी हिस्सा मंदिर निर्माण के बाद बनाया जाएगा। तीर्थ यात्री सुविधा केंद्र, पावर स्टेशन, वाटर प्लांट, परकोटा, रिटेनिंग वॉल, लाइटिंग आदि योजनाओं की प्रगति जानी। कार्यदायी संस्था के इंजीनियरों ने आश्वासन दिया कि मंदिर निर्माण की पूरक ये सभी योजनाएं दिसंबर तक पूरी हो जाएंगी। (अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)