नई दिल्ली: भारत यात्रा पर आए अमेरिका के रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन ने शनिवार को विदेश मंत्री एस. जयशंकर के साथ द्विपक्षीय मामलों पर विचार-विमर्श किया।
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने इस संबंध में एक ट्वीट में जानकारी दी, “हमने विश्व रणनीतिक हालात पर व्यापक विचार विमर्श किया। भारत और अमेरिका अपनी रणनीतिक साझेदारी और मजबूत बनाने को उत्सुक हैं।”
अमेरिकी रक्षा मंत्री ने आज पूर्वाहन रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से हिंद-प्रशांत क्षेत्र में सहयोग के साथ ही रक्षा संबंधों में मजबूती लाने पर व्यापक विचार विमर्श किया था।
ऑस्टिन शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मिले थे और उन्होंने राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल से विचार-विमर्श किया था।
अमेरिकी रक्षा मंत्री ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कहा कि उन्होंने मानवाधिकारों के मुद्दे पर भारत के मंत्रियों के साथ विचार विमर्श किया। उनसे पूछा गया था कि मानवाधिकारों के मुद्दे पर क्या उन्होंने भारतीय नेताओं से बातचीत की। इस पर ऑस्टिन ने कहा कि उन्हें प्रधानमंत्री मोदी के साथ मुलाकात के दौरान इसका अवसर नहीं मिला हालांकि उन्होंने भारतीय मंत्रियों के साथ इस मुद्दे पर चर्चा की।
अमेरिकी रक्षा मंत्री ने कहा कि उनका देश भारत के साथ अपनी साझेदारी को बहुत महत्व देता है। दो मित्र देशों के बीच विभिन्न मुद्दों पर खुलकर बातचीत हो सकती है। इसी तरह से विचार-विमर्श सार्थक सिद्ध होते हैं।
उल्लेखनीय है कि अमेरिकी सीनेट की शक्तिशाली विदेश संबंध समिति के अध्यक्ष सीनेटर रॉबर्ट मेनेंडेज ने ने भारत यात्रा पर रवाना होने से पूर्व ऑस्टिन को पत्र लिखकर सलाह दी थी कि वह भारतीय नेताओं से बातचीत के दौरान वहां चल रहे किसान आंदोलन और देश में मानवाधिकारों की स्थिति के बारे में बातचीत करें। मेनेंडेज ने भारत द्वारा रूस मिसाइल प्रतिरोधी प्रणाली एस400 खरीद का भी उल्लेख किया था जो उनके अनुसार अमेरिका द्वारा रूस पर लगाए गए प्रतिबंधों का उल्लंघन है।
अमेरिकी सीनेटर ने एक प्रकार से भारत को भी यह धमकी दी थी कि यदि वह एस400 पर कायम रहता है तो उसे भी प्रतिबंधों का सामना करना पड़ सकता है।