ऊनाः हिमाचल प्रदेश सरकार ने अब शक्तिपीठ चिंतपूर्णी मंदिर (Chintpurni Temple) में दर्शन करने की व्यवस्था में बड़ा बदलाव किया है। इसके तहत अब भक्तों को दर्शन करने के लिए अपनी जेब ढीली करनी पड़ेगी। न्यास ने वीआईपी श्रद्धालुओं के लिए सुगम दर्शन प्रणाली लागू करते हुए शुल्क का निर्धारण किया है।
दर्शन के लिए सरकार ने तीन कैटेगरी तय की है। इसके तहत पहली कैटेगरी में वीआईपी श्रद्धालुओं को 1100 रुपये की पर्ची कटवानी होगी। दूसरी कैटेगरी में 65 साल या इससे अधिक आयु वाले बुजुर्गों को 50 रुपये देय होंगे। उन्हें अपने साथ एक अटेंडेंट ले जाने की सुविधा मिलेगी। वहीं, तीसरी कैटेगरी में दिव्यांगों को रखा गया है, जिन्हें दर्शन के लिए 50 रुपये देने होंगे। ये भी एक अटेंडेंट साथ ले जा सकेंगे। जबकि चैथी कैटेगरी में वीआईपी सांसदों, मंत्रियों व विधायकों के लिए दर्शन निशुल्क रहेगा।
एक दिन में 500 पास
उपायुक्त राघव शर्मा ने जानकारी दी कि चिंतपूर्णी मंदिर (Chintpurni Temple) में इस व्यवस्था को ट्रायल के तौर पर अभी शुरू किया गया है। शुरुआत में एक दिन में केवल 500 पास वीआईपी दर्शन को जारी किए जा रहे हैं, जिससे मंदिर में पंक्ति व्यवस्था प्रभावित न हो सके।
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भाजपा ने कहा- VIP कल्चर को बढ़ावा
भाजपा ने शक्तिपीठ चिंतपूर्णी (Chintpurni Temple) में वीआईपी दर्शन के लिए 1100 रुपये का शुल्क तय करने के कांग्रेस सरकार के फैसले को दुर्भाग्यपूर्ण बताया है। भाजपा के वरिष्ठ नेता व पूर्व मंत्री बिक्रम ठाकुर ने राज्य सरकार से तुरंत इस फैसले को वापस लेने की मांग की है। ठाकुर ने बुधवार को एक बयान में कहा कि ये कौन सा व्यवस्था परिवर्तन है, जहां लोगों को मंदिर के दर्शन करने के लिए भी शुल्क चुकाना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि भाजपा ने वीआईपी कल्चर को खत्म किया है, लेकिन प्रदेश की कांग्रेस सरकार मंदिरों में भी वीआईपी कल्चर को बढ़ावा दे रही है।
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