लखनऊ: यूपी के पूर्व कैबिनेट मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य (swami prasad maurya) और उनकी पूर्व सांसद बेटी संघमित्रा मौर्य (Sanghamitra Maurya) को कोर्ट ने फरार घोषित कर दिया है। यह आदेश एमपी-एमएलए कोर्ट के विशेष एसीजेएम आलोक वर्मा ने जारी किया है। इससे पहले दोनों के खिलाफ इसी साल अप्रैल में गैर जमानती वारंट जारी किया गया था। हाईकोर्ट ने भी मामले में पिता-पुत्री को राहत देने से इनकार कर दिया है।
कोर्ट ने घोषित किया फरार
कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि आरोपी कोर्ट में पेश होने से बच रहे हैं। इसलिए उनके खिलाफ धारा 82 के तहत कार्यवाही की जाती है। अधिवक्ता ने बताया कि बिना तलाक लिए धोखाधड़ी कर दूसरे व्यक्ति से शादी करने की आरोपी संघमित्रा मौर्य और वादी के साथ मारपीट, गाली-गलौज, जानमाल की धमकी और साजिश रचने के आरोपी स्वामी प्रसाद मौर्य, सूर्य प्रकाश शुक्ला, नीरज तिवारी और रितिक सिंह को कोर्ट ने कोर्ट में पेश न होने पर फरार घोषित कर दिया है।
जानें क्या है पूरा मामला
मिली जानकारी के अनुसार सुशांत गोल्फ सिटी निवासी दीपक कुमार स्वर्णकार और संघमित्रा 2016 से लिव-इन रिलेशनशिप में रह रहे थे। दीपक के अनुसार, 3 जनवरी 2019 को उन्होंने संघमित्रा के घर में उनसे शादी कर ली। जबकि संघमित्रा और उसके पिता स्वामी प्रसाद मौर्य (swami prasad maurya) ने शिकायतकर्ता को बताया कि संघमित्रा का अपनी पिछली शादी से तलाक हो चुका है। वादी ने 3 जनवरी 2019 को संघमित्रा से विवाह किया था। संघमित्रा ने 2019 के चुनाव में हलफनामा देकर खुद को अविवाहित बताया था, जबकि बाद में वादी को मई 2021 में पता चला कि संघमित्रा तलाकशुदा हैं।
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दीपक ने आगे कहा गया कि जब उसने वर्ष 2021 में रीति-रिवाज के साथ विवाह करने को कहा तो स्वामी प्रसाद मौर्य ने वादी पर जान से मारने की नीयत से कई बार हमला करवाया। तीन बार समन, दो बार जमानती वारंट और एक बार गैर जमानती वारंट जारी हुआ, लेकिन दोनों हाजिर नहीं हुए। एमपीएमएलए कोर्ट ने मामले की अगली सुनवाई के लिए 27 अगस्त की तारीख तय की है।