ईडी के खिलाफ शिवसेना की हुंकार

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लोकतांत्रिक व्यवस्था में केंद्र तथा राज्य सरकार के बीच समन्वय न हो तो सत्ता संचालन में परेशानी खड़ी होती है। इन दिनों केंद्र तथा महाराष्ट्र सरकार के बीच कुछ ऐसा चल रहा है कि लगता है कि दोनों के बीच दूरी अभी खत्म नहीं होने वाली है। शिवसेना यह मानकर चल रही है कि केंद्र की मोदी सरकार बदले की भावना से काम कर रही है और इसीलिए वह ईडी के माध्यम से शिवसेना के नेताओं को नोटिस भेज रही है। शिवसेना प्रताप सरनाईक के बाद शिवसेना सांसद  संजय राऊत  को ईडी की ओर से नोटिस भेजे जाने से आल्याने शिवसेना और ज्यादा आक्रामक हुई है ओर केंद्र सरकार के इशारे पर काम कर रही ईडी  के विरोध में शिवसैनिकों ने रास्तों पर उतरने की तैयारी कर ली है। आगामी पांच जनवरी को मुंबई के साथ-साथ ठाणे, नवी मुंबई, मीरा-भाईंदर से बसों, निजी वाहनों से शिवसैनिक मुंबई में आएंगे और ईडी तथा केंद्र सरकार के खिलाफ रास्तों पर उतरकर नारेबाजी करेंगे।

शिवसेना के विधायक प्रताप सरनाईक के साथ-साथ सांसद संजय राऊत की पत्नी वर्षा राऊत को ईडी की ओर से नोटिस भेजी गई है। इतना ही नहीं प्रताप सरनाईक से पहले उनके दोनों पुत्रों को भी ईडी की ओर से नोटिस भेजी गई थी। शिवसेना नेता संजय राऊत ने शिवसेना के नेताओं को ईडी की ओर से दी जा रही नोटिस पर अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा है कि ईडी की ओर से वही किया जा रहा है, जो उसे केंद्र सरकार की ओर से कहा जा रहा है। ईडी शिवसेना सांसद की पत्नी वर्षा राऊत के खिलाफ 55 लाख की हेराफेरी के मामले की जांच कर रही है। वर्षा राऊत के पीएमसी बैँक के खाते से उक्त आर्थिक व्यवहार किया गया, ऐसा ईडी का कहना है।

 

ईडी के आड़ में शिवसेना को परेशान करने के लिए शिवसेना नेताओं को नोटिस भेजने का सिलसिला शुरु किया गया है, इसलिए शिवसेना ने इस मुद्दे पर ईडी के विरोध में आक्रमक तेवर अपना रही है और इसी के तहत 5 जनवरी को शिवसेना में ईडी के खिलाफ आवाज बुलंद करने के लिए राज्य के कुछ प्रमुख क्षेत्रों में रास्ते पर उतरने का ऐलान किया है। ईडी को सामने आकर केंद्र सरकार के खिलाफ शिवसेना के 5 जनवरी के आंदोलन को सफल बनाने के लिए शिवसेना की ओर से हरसंभव कोशिशें की जा रही हैं। इसी के तहत पांच जनवरी कों महाराष्ट्र के अलग-अलग क्षेत्रों से शिवसैनिक मुंबई में पहुंचेंगे और ईडी के खिलाफ अपनी आवाज बुलंद करेंगे।

शिवसेना के इस केंद्र सरकार के विरोध में किए जाने वाले प्रतीकात्मक आंदोलन में मुंबई के साथ-साथ ठाणे, नवी मुंबई, मीरा भाईंदर के शिवसेना के पदाधिकारी तथा कार्यकर्ता बड़ी संख्या में बसों तथा निजी वाहनों से मुंबई में आएंगे। पांच जनवरी को वर्षा राऊत को ईडी के कार्यालय में पूछताछ के लिए बुलाया गया है, जिस वक्त वर्षा राऊत ईडी के कार्यालय में होंगी, उस वक्त ईडी कार्यालय के बाहर लाखों शिवसैनिकों का हुजूम उपस्थित रहेगा। शिवसेना की ओर से पांच जनवरी को किया जाने वाला यह ईडी विरोध कार्यक्रम एक तरह से केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ एल्गार ही है। दूसरे शब्दों में इसे मोदी सरकार के खिलाफ शिवसेना का खुला विरोध भी कहा जाए तो इसमें कुछ गलत नहीं होगा। शिवसेना इस आंदोलन के माध्मम से यह बताने की कोशिश करेगी कि केंद्र सरकार जांच एजेंसियों का किस तरह से दुरुपयोग कर रही है।

शिवसैनिक ने ईडी कार्यालय के बाहर एक तख्ती लगाकर उसे भाजपा कार्यालय बताया था और तख्ती पर भाजपा के खिलाफ खुलकर टिपप्णी की गई थी। पीएमसी बैंक घोटाले मामले में वर्षा राऊत की ईडी की ओर से पूछताछ की जानी है। पीएमसी बैंक में हुई करोड़ों के घोटाले की जांच ईडी की ओर से की जा रही है। मनी लॉड्रिंग कानून के तहत ईडी की ओर से उक्त कार्रवाई की जा रही है।  3 अक्टूबर, 2019 को ईडी के पास इस मामले की जांच करने का दायित्व सौंपा गया था। पीएमसी बैंक का घोटाला सामने आने के बाद रिजर्व बैंक ने पीएमसी बैंक के आर्थिक कामकाज पर रोक लगायी थी।  पंजाब एंड महाराष्ट्र सहकारी बैंक (पीएमसी बैंक) में हुए 4 हजार, 335 करोड़ रूपए के घोटाले के मामले में मुंबई पुलिस की अपराध शाखा की ओर से 12 से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया है।

पीएमसी घोटाले में आर्थिक अपराध शाखा ने अपराध दर्ज करने के बाद घोटाला का विस्तार देखकर प्रकरण की जांच के लिए विशेष पथक गठित किया। इस पथक ने सबसे पहले एचडीआईएल के कार्यकारी अध्यक्ष राकेश वाधवान तथा व्यवस्थापकीय संचालक सारंग वाधवान को गिरफ्तार किया। अपनी पत्नी की गिरफ्तारी के बाद संजय राऊत ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि मैं मध्यमवर्गीय व्यक्ति हूं, मेरे पास छिपाने जैसा कुछ भी नहीं है, जिनके पास छिपाने जासा कुछ रहता है, वे भाजपा में जाते हैं, इसलिए चाहे कुछ भी हो जाए मैं शिवसेना नहीं छोडूंगा। मैं शिवसेना में हूं और शिवसेना में ही रहते हुए मरुंगा।  इस मुद्दे पर शिवसेना सांसद संजय राऊत ने कहा कि मैं संसद का सदस्य हूं, मैं कानून पालन करने वाला नागरिक हूं। मैं स्वयं कानून बनाने की प्रकिया में लगा रहता हूं, इस वजह से अगर केंद्र सरकार की ओर से जांच एजेंसी की ओर से मेरे परिवार के पास कोई कागज आया होगा तो उसका सम्मान करना मेरा कर्तव्य है।

ईडी की कार्रवाई पर अपनी खींझ निकालते हुए संजय राऊत ने कहा कि वर्तमान में सरकारी जांच एजेसियों के पास कोई दूसरा काम नहीं है, इसलिए वह लगातार नोटिसें भेजने का काम कर रही हैं। केंद्र सरकार की ओर से विरोधियों को मानसिक रूप से परेशान करना राष्ट्रीय कर्तव्य बन गया है।  संजय राऊत ने ईडी की नोटिस के संदर्भ में अपना पक्ष रखते समय इस बात की भी टीस व्यक्त की कि मुझे समय-समय बदनाम किया जाता रहा है। संजय राऊत ने इस दौरान बड़ी धमक के साथ कहा कि मुझे बदनाम करने की कितनी भी कोशिश जाए, लेकिन में हर बार नए तेज, नई ऊर्जा के साथ उठ खड़ा होता हूं। पीएमसी बैक के कथित घोटाला के मामले में अपनी पत्नी वर्षा राऊत को ईडी की ओर से दी गई नोटिस के बारे में संजय राऊत ने साफ कहा कि इसके पीछे भाजपा की षडयंत्रकारी राजनीति ही सबसे बड़ा कारण है। भाजपा सांसद किरीट सोमय्या ने भी संजय राऊत के परिवार पर आरोप लगाए हैं।

संजय राऊत तथा प्रवीण राऊत के परिवार के पास करोड़ों की संपत्ति कहां से आई?. एचडीआईएल के माध्यम से पीएमसी बैक में रुपए कहां से कहां गेला? एचडीआईएल तथा उनके समूह की कंपनियों से दोनों राऊत परिवारों को कितनी धनराशि मिली, ये कुछ ऐसे सवाल हैं, जिनके बारे में पूछताछ किए जाने की मांग भाजपा सांसद किरीट सोमय्या  की ओर की गई है। इस संदर्भ में विधानसभा में विरोधी पक्ष नेता तथा राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा है कि संजय राऊत एस प्रतिभावान व्यक्ति हैं। फडणवीस के इस मुद्दे पर साफ कहा कि अगर नोटिस मिली है तो राऊत परिवार को लोगों को उसके बारे में अपना खुलासा देना चाहिए। इस बारे में अगर मगर, अगर, लेकिन कहा जा रहा है तो दाल में कुछ काला जरूर है।

एक तरह शिवसेना ने ईडी की नोटिसों से परेशान होकर केंद्र सरकार के खिलाफ खोल दिया तो दूसरी तरफ राष्ट्रवादी कांग्रेस की ओर से रसोई गैस सिलेंडर की कीमत बढ़ाने को लेकर आक्रामक रूख अपनाया है। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी की महिला मोर्चे ने गत दिनों सांगली में बीच में रास्ते में अंगेठी जलाकर खाना बनाया और केंद्र सरकार के विरोध में नारेबाजी की। आंदोलन कर रही राकांपा की महिला कार्यकर्ताओं ने इस दौरान केंद्र सरकार को जनविरोधी बताते हुए गैस सिलिंडर की कीमतों में की गई दरवृदिध रद्द करने की मांग की। इस मौके पर राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी की महिला मोर्चे की पदाधिकारियों तथा कार्यकताओं ने ‘मोदी जी, नही चाहिए अच्छे दिन, लौटा दो हमारे बुरे दिन’, ‘भाजपा सरकार होश में आओ, जनता से तुम ना टकराओ’ जैसे फलक लेकर केंद्र सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।

पिछले तीन माह से लगातार रसोई गैस सिलेंडर दरवृद्धि के विरोध में राष्ट्रवादी कांग्रेस आक्रमक रूख आपनाए हुए हैं। गैस सिलेंडर के दाम में वृद्धि के विरोध में सांगली में राकांपा महिला मोर्चे की ओर से राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के कार्यालय के बाहर आंदोलन किया गया। इस आंदोलन में राष्ट्रवादी महिला मोर्चे की शहर जिला अध्यक्ष विनया पाठक ने ‘केंद्र सरकार की ओर से रसोई गैस सिलेंडर की कीमतों में वृद्धि करने के लिए केंद्र सरकार पर निशाना साधा गया। इस दौरान विनय पाठक ने कहा कि घरेलु तथा व्यावसायिक उपयोग में लाए जाने वाले गैस सिलिंडर की कीमतों में वृद्धि में करके सामान्य नागरिकों पर अन्याय किया है। सामान्य लोगों के बारे में केद्र सरकार को कोई लेना-देना नहीं है। अच्छे दिन का प्रचार करने वाली केंद्र की मोदी सरकार ने लोगों को बुरे दिन दिखाए, इस तरह का आरोप लगाते हुए राकांपा महिला मोर्चे की

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आंदोलनकारियों ने मोदी सरकार को घेरते हुए कहा कि  हमारे पहले के दिन ही अच्छे थे।  शिवसेना तथा राकांपा की ओर से केंद्र सरकार के खिलाफ तैयार किए जाने वाले वातावरण से इस बात का खुलासा हो गया है कि शिवसेना तथा राकांपा दोनों मिलकर केंद्र की मोदी सरकार की छवि खराब करने का काम कर रहे हैं।

सुधीर जोशी, महाराष्ट्र