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Shimla Weather: दो साल से शिमला में नहीं हुई बर्फबारी, मायूस हो रहे सैलानी

Shimla Weather: हिमाचल प्रदेश के मशहूर पर्यटन स्थल शिमला और मनाली में मौसम का मिजाज लगातार तल्ख बना हुआ है। बर्फ के लिए पर्यटकों की पसंदीदा माने जाने वाले इन पर्यटन स्थलों पर इस बार सीजन की पहली बर्फबारी का इंतजार है। हैरानी की बात तो ये है कि पहाड़ों की रानी कहे जाने वाले शिमला शहर में करीब दो साल से बर्फबारी नहीं हुई है। आखिरी बार शिमला शहर फरवरी 2022 में बर्फबारी से ढका था। लेकिन, इसके बाद यहां बर्फबारी नहीं देखी गई। शिमला शहर 2023 के सर्दियों के मौसम में बर्फबारी के लिए तरसता रहा। दरअसल, क्रिसमस और नए साल की पूर्वसंध्या पर्यटकों के लिए बर्फबारी का पसंदीदा समय होता है और बड़ी संख्या में पर्यटक बर्फ देखने के लिए शिमला की वादियों में आते हैं। लेकिन, इस सर्दी के मौसम में इन दोनों ही मौकों पर शिमला में बर्फबारी देखने को नहीं मिली। मौसम विभाग ने आने वाले सप्ताह में शिमला और मनाली में संभावित बर्फबारी की पूर्व भविष्यवाणी को खारिज कर दिया है। मौसम विभाग ने 17 जनवरी को राज्य के मध्यम ऊंचाई वाले क्षेत्रों में हल्की बर्फबारी की संभावना जताई थी, लेकिन विभाग की ओर से मंगलवार को जारी ताजा पूर्वानुमान में राज्य के उच्च पर्वतीय क्षेत्रों में ही बर्फबारी की संभावना है। इन क्षेत्रों में लाहौल-स्पीति और किन्नौर जिलों के ऊंचाई वाले क्षेत्र शामिल हैं।

नवंबर से मार्च तक चलता है विंटर सीजन

शिमला में शीत ऋतु नवंबर से मार्च तक चलती है। इस सीजन में अब तक शहर में एक सेंटीमीटर भी बर्फबारी नहीं हुई है। मौसम विभाग के आंकड़ों के मुताबिक शिमला में 1989-90 में सबसे ज्यादा बर्फबारी हुई थी। उस दौरान लगभग 262.2 सेमी रिकार्ड किया गया था। वर्ष 2005-06 में भी शहर में बर्फबारी नहीं हुई थी।

पिछले कुछ अरसे से बदल रहा मौसम का पैटर्न

मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक सुरेंद्र पॉल का कहना है कि पिछले कुछ समय से मौसम के मिजाज में बदलाव हो रहा है। सर्दियों के महीनों में बर्फबारी कम हो रही है। शिमला में पहले दिसंबर, जनवरी, फरवरी और यहां तक कि मार्च के महीनों में नियमित बर्फबारी होती थी, लेकिन अब ऐसा नहीं है। पर्यावरणविदों के मुताबिक, जलवायु परिवर्तन और शहरीकरण के कारण ऐसा हो रहा है, वाहन यातायात में बढ़ोतरी और अन्य स्थानीय कारण इसके लिए जिम्मेदार हैं। ये भी पढ़ें: Shimla: गेस्ट टीचरों की भर्ती के खिलाफ एबीवीपी का जोरदार प्रदर्शन, नारेबाजी

राज्य के पर्वतीय इलाकों में धूप खिली

मंगलवार को प्रदेश के अधिकांश जिलों में मौसम साफ रहा. पहाड़ी इलाकों में जहां धूप खिली रही, वहीं मैदानी इलाकों हमीरपुर, बिलासपुर और ऊना में दोपहर तक घने कोहरे ने लोगों को परेशान किया, जबकि शिमला शहर में दिनभर गुनगुनी धूप खिली रही। इसके चलते जनवरी माह में बर्फबारी की संभावना कम बनी हुई है। बारिश और बर्फबारी न होने से शिमला में शुष्क ठंड पड़ रही है। सोमवार रात यहां न्यूनतम तापमान 4 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो सामान्य से 1.1 डिग्री ज्यादा है। मौसम विभाग की रिपोर्ट के मुताबिक बीते 24 घंटों के दौरान राज्य के पांच जिलों लाहौल-स्पीति, किन्नौर, उना, मंडी और बिलासपुर में न्यूनतम तापमान शून्य से नीचे दर्ज किया गया। खास बात यह है कि पहाड़ों के साथ मैदानी भागों में भी पारा माइनस में पहुंच गया है। लाहौल-स्पीति जिले का कुकुमसेरी राज्य का सबसे सर्द स्थल रहा, जहां न्यूनतम तापमान -11.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। इसके अलावा समधो में -2 डिग्री, कल्पा में -1.8 डिग्री, उना में -1 डिग्री, बरठीं में -0.5 डिग्री, मंडी में -0.2 डिग्री, और सुंदरनगर में -0.1 डिग्री सेल्सियस रहा। अन्य शहरों के तापमान पर नजर डालें, तो भुंतर में 0.1 डिग्री, धर्मशाला में 5.2 डिग्री, नाहन में 6.1 डिग्री, पालमपुर में 2.6 डिग्री, सोलन में 0.6 डिग्री, मनाली में 0.2 डिग्री, कांगड़ा में 3.5 डिग्री, चंबा में 2.6 डिग्री, डल्हौजी में 4.5 डिग्री, जुब्बड़हट्टी में 5.2 डिग्री, कुफरी में 2 डिग्री, नारकंडा में 1.8 डिग्री, भरमौर में 4.1 डिग्री, रिकांगपिओ में 0.2 डिग्री, सियोबाग में 0.5 डिग्री, धौलाकूआं में 3.4 डिग्री, पांवटा साहिब में 6 डिग्री, सराहन में 2 डिग्री और देहरा गोपीपुर में 8 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया। (अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर(X) पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)