UP की बिजली कंपनियों की रेटिंग में हुआ सुधार, C से B ग्रेड में आईं ज्यादातर कंपनियां

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लखनऊः उत्तर प्रदेश (UP) की विद्युत वितरण कंपनियों की रेटिंग में काफी हद तक सुधार हुआ है। अधिकतर कंपनियां सी ग्रेड से बी ग्रेड में आ गई हैं। केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय के उपक्रम आरईसी द्वारा जारी वित्तीय वर्ष 2022-23 की उपभोक्ता सेवा रेटिंग में प्रदेश की तीन विद्युत वितरण कंपनियां पूर्वांचल, मध्यांचल व दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम ने वित्तीय वर्ष 2021-22 की तुलना में बिजली आपूर्ति में सुधार, नए कनेक्शन जारी करने में सुधार, त्वरित गति से उपभोक्ताओं की समस्याओं के समाधान समेत अन्य सेवाओं में बड़े पैमाने पर सुधार किया है।

ऐसे जारी होती है रेटिंग

केंद्र सरकार द्वारा 2020-21 से बिजली कंपनियों में प्रतिस्पर्धा व सुधार की प्रवृत्ति को बढ़ाने के लिए प्रतिवर्ष बिजली कंपनियों की उपभोक्ता सेवा के आधार पर रेटिंग जारी की जाती है। इसमें प्रमुख रूप से विद्युत आपूर्ति के घंटे, नए कनेक्शन जारी करने में आसानी, भार बढ़ाना, घटाना, सही बिल व समय पर बिल देना, बिजली बिल वसूली के लिए उपभोक्ताओं को सहूलियत देना, खराब मीटर बदलने सहित अन्य सेवाएं और ट्रिपिंग रहित बिजली आपूर्ति जैसे सूचक शामिल किए गए हैं।

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शिकायतों के निस्तारण में हुआ सुधार

वित्तीय वर्ष 2022-23 की रेटिंग में प्रदेश की पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम ने शिकायतों के निस्तारण सहित अन्य सेवाओं में व्यापक सुधार कर सी श्रेणी से बी श्रेणी में स्थान बनाया है। मध्यांचल विद्युत वितरण निगम ने बिजली आपूर्ति, नए कनेक्शन जारी करने सहित अन्य सेवाओं में व्यापक सुधार करते हुए सी श्रेणी से बी श्रेणी में स्थान बनाया है। इसी प्रकार दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम ने बिजली आपूर्ति, नए कनेक्शन जारी करने सहित अन्य सेवाओं में व्यापक सुधार कर सी श्रेणी से बी श्रेणी में स्थान बनाया है।

रूरल इलेक्ट्रिफिकेशन कॉर्पोरेशन लिमिटेड (आरईसी) द्वारा पूरे देश के 62 डिस्कॉम की उपभोक्ता सेवा रेटिंग जारी की गई है। यह रेटिंग 100 अंकों के आधार पर की गई है। इसमें मध्यांचल 53वें नंबर पर आया है, जबकि केस्को 33वें नंबर पर रहा, वहीं प्रदेश की अन्य बिजली कंपनियां भी टॉप 20 से बाहर ही रहीं। इसके बावजूद बीते वर्ष की तुलना में इस वर्ष प्रदेश की बिजली कंपनियों ने उपभोक्ता सेवा के मामले में सुधार किया है।

अलग-अलग श्रेणी में ग्रेडिंग

आरईसी ने मार्किंग के आधार पर अलग-अलग श्रेणी में ग्रेडिंग किए जाने का प्रावधान किया है। पूरे देश में दिल्ली के बाद उत्तर प्रदेश की निजी क्षेत्र की कम्पनी नोएडा पावर कम्पनी को ए प्लस श्रेणी का ग्रेड दिया गया है, वहीं वर्ष 2021-22 में दिल्ली के बाद दूसरे नंबर पर रहने वाली प्रदेश की केस्को कम्पनी इस बार बी प्लस ग्रेड पर आ गई है। पश्चिमांचल डिस्काॅम की रेटिंग सी प्लस ही रही। दक्षिणांचल, पूर्वांचल, मध्यांचल सुधार करते हुए बी ग्रेड में अपनी जगह बनाई है। 62 डिस्कॉम की रेटिंग में 40 से ऊपर रेटिंग वाले डिस्काॅम उपभोक्ता सेवा के मामले में बहुत बेहतर नहीं माने जाते हैं।

दो माह में होगी ग्रामीण इलाकों की बिलिंग

व्यावहारिक दिक्कतों को लेकर ग्रामीण इलाकों की बिलिंग दो माह में कराए जाने की तैयारी है। इसके लिए ग्रामीण क्षेत्रों की प्रति माह होने वाली बिलिंग की व्यवस्था में बदलाव किया जा सकता है। दो माह में एक बार प्रत्येक उपभोक्ता को सही रीडिंग का बिल देने के लिए निजी एजेंसी के मीटर रीडर के साथ एक विभागीय कर्मी भी लगाया जाएगा।

विभागीय अफसरों को ऐसी शिकायतें मिलती रहती हैं कि ग्रामीण क्षेत्रों में मीटर रीडर बिना मीटर देखे ही मनमानी रीडिंग का बिल बना दे रहे हैं। सही रीडिंग का बिल न मिलने से उपभोक्ता परेशान हो रहे हैं। ऐसे में दो माह में एक बार रीडिंग की व्यवस्था को लागू करने पर विचार किया जा रहा है। जानकारी के अनुसार ग्रामीण क्षेत्र के प्रत्येक उपभोक्ता को बिलिंग के दायरे में लाने के लिए जीआइएस मैपिंग कराए जाने के साथ ही जल्द से जल्द सभी कनेक्शन में स्मार्ट मीटर लगाए जाने की भी तैयारी है।

(रिपोर्ट- पंकज पाण्डेय, लखनऊ)

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