Friday, December 27, 2024
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Homeउत्तर प्रदेशउपभोक्ता सेवा में फिसड्डी बिजली कम्पनियां

उपभोक्ता सेवा में फिसड्डी बिजली कम्पनियां


लखनऊः उपभोक्ता सेवा में प्रदेश की बिजली कम्पनियां हर बार फिसड्डी साबित होती हैं। आरईसी द्वारा जारी कंज्यूमर सर्विस रेटिंग में इस बार भी केस्को को छोड़कर प्रदेश की सभी बिजली कम्पनियों की रेटिंग सबसे निचले पायदान पर रही।

केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय की देखरेख में रूरल इलेक्ट्रिफिकेशन काॅर्पोरेशन लिमिटेड (आरईसी) ने बीते बुधवार 09 नवम्बर को पहली बार देश के 70 डिस्कॉम के 30 करोड़ विद्युत उपभोक्ताओं की कंज्यूमर सर्विस रेटिंग पार्ट-बी जारी की गई। वर्ष 2020-21 के लिए जारी की गई इस रेटिंग को तीन भागों सामान्य, शहरी व स्पेशल में बांटा गया है। आरईसी की इस रेटिंग में प्रदेश की मध्यांचल और दक्षिणांचल विद्युत वितरण कम्पनियां सबसे निचले पायदान यानी डी श्रेणी में शामिल रही। इस सूची में सिर्फ केस्को ही ए ग्रेड में शामिल है। रेटिंग में प्रमुख रुप से पूरे देश के सभी राज्यों में उपभोक्ताओं को मिलने वाली विद्युत आपूर्ति, विद्युत कनेक्शन, बिलिंग, मीटर, टैरिफ, ट्रांसफार्मर समेत सभी सुविधाओं से सम्बंधित समस्याओं का निस्तारण शामिल है।

आरईसी द्वारा एक मानक तय करके उस पर 100 मार्क के आधार पर अलग-अलग श्रेणी में ग्रेडिंग किए जाने का प्रावधान किया गया है। शहरी क्षेत्र के बिजली डिस्कॉम के तहत पूरे देश में दिल्ली के बाद उत्तर प्रदेश की केस्को कम्पनी को ‘ए‘ श्रेणी का ग्रेड मिला है। मध्यांचल व दक्षिणांचल विद्युत वितरण कम्पनी जहां ‘डी‘ ग्रेड में हो तो पश्चिमांचल व पूर्वांचल कम्पनी ‘सी‘ ग्रेड तक ही पहुंच पाई हैं। बिजली कम्पनियों का यह प्रदर्शन साबित कर रहा है कि उनका ध्यान उपभोक्ता सेवाओं पर नहीं है। रेटिंग सुधारने के लिए प्रदेश सरकार और पावर काॅर्पोरेशन प्रबंधन को इस पर ध्यान देने की जरूरत है।


बोले ऊर्जा मंत्री, किसानों की बिजली में न हो कटौती

ऊर्जा मंत्री एके शर्मा ने किसानों को दी जा रही बिजली में कटौती न करने के निर्देश दिए हैं, साथ ही नए व विस्तारित निकायों में शहरों की तरह बिजली दिए जाने के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश में नए नगर निकाय के अलावा कुछ निकायों का सीमा विस्तार कर गांवों को शहर से जोड़ा गया है। ऐसे नवसृजित व विस्तारित निकायों में विद्युत आपूर्ति शहरों की तरह देने के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित किया जाए। इसके लिए मुख्यमंत्री नगर सृजन योजना के तहत धनराशि प्रदान की जाएगी। उन्होंने कहा कि किसानों को आपूर्ति की जा रही बिजली में किसी भी प्रकार की कटौती न की जाए। किसानों को पूरी बिजली न मिलने की आगरा के विधायक ने शिकायत की है। रबी का सीजन आ रहा है। ऐसे में किसानों को सिंचाई के लिए भरपूर बिजली दी जाए। ऊर्जा मंत्री ने रिवैम्प योजना की प्रगति, राजस्व वसूली, बिलिंग, उपभोक्ताओं की शिकायतों की स्थिति और घाटमपुर व पनकी की विद्युत इकाइयों के जनरेशन आदि विषयों को लेकर समीक्षा बैठक की। इस दौरान रिवैम्प योजना का क्रियान्वयन न होने पर नाराजगी जताई।


सात हजार करोड़ के वसूली का लक्ष्य


ऊर्जा मंत्री ने राजस्व वसूली बढ़ाने के निर्देश देते हुए नवम्बर माह में सात हजार करोड के राजस्व वसूली का लक्ष्य तय किया और बिलिंग की समीक्षा करने के निर्देश दिए। बैठक में अपर मुख्य सचिव ऊर्जा महेश चंद्र गुप्ता ने कहा कि उपभोक्ता अपना बिल चेक व डीडी के माध्यम से भी जमा करते हैं, जिसका समय पर भुगतान न होने से उपभोक्ताओं पर बकाया चढ़ता जाता है। उन्होंने कहा कि मैं खूद भी इस अव्यवस्था का शिकार हुआ हूं। उन्होंने इस प्रकार के सभी चेक व डीडी का तीन दिन के भीतर भुगतान लेने को कहा, जिससे उपभोक्ताओं पर आर्थिक बोझ न पड़े। उन्होंने बिलिंग में 50 से 60 प्रतिशत की गड़बड़ी पाए जाने पर सम्बंधित बिलिंग एजेंसी के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के भी निर्देश दिए। काॅर्पाेरेशन के चेयरमैन एम. देवराज ने बताया कि केंद्र की रिवैम्प योजना के तहत केस्को कानपुर, मिर्जापुर, भदोही, सोनभद्र में टेंडरिंग प्रक्रिया पूरी कर ली गई है।

रिपोर्ट-पंकज पाण्डे

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