सत्ता में रहकर सट्टा का खेल… स्मृति ईरानी ने महादेव ऐप को लेकर CM भूपेश पर लगाए गंभीर आरोप

0
36

Mahadev App Case: भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने शनिवार को छत्तीसगढ़ की भूपेश बघेल सरकार पर बड़ा हमला बोला। राज्य विधानसभा चुनाव में हवाला ऑपरेटर का पैसा इस्तेमाल करने का गंभीर आरोप लगा है। राजधानी स्थित बीजेपी मुख्यालय में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने भूपेश बघेल पर सवालों की बौछार कर दी।

करोड़ों रुपए देने के लिए लगाए आरोप 

उन्होंने कहा कि कांग्रेस हवाला ऑपरेटरों का इस्तेमाल कर छत्तीसगढ़ में चुनाव लड़ रही है। सत्ता में रहते हुए सट्टेबाजी का खेल छत्तीसगढ़ कांग्रेस नेतृत्व का चेहरा बन गया है। शुक्रवार को भूपेश बघेल के खिलाफ कुछ चौंकाने वाले तथ्य देश के सामने पेश किये गये। असीम दास के पास से 5.30 करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम बरामद की गई है। केंद्रीय मंत्री ईरानी ने सवाल पूछा कि क्या यह सच है कि 2 नवंबर को होटल ट्राइडेंट में असीम दास से पैसे बरामद हुए थे? क्या यह सच है कि असीम दास छत्तीसगढ़ में कांग्रेस नेताओं को शुभम सोनी के माध्यम से पैसे भेजते थे? क्या यह सच है कि शुभम सोनी को वॉयस मैसेज के जरिए आदेश दिया गया था कि वह रायपुर जाकर बघेल को चुनाव खर्च के लिए पैसे दे? क्या यह सच है कि मनी लॉन्ड्रिंग रोकथाम अधिनियम के तहत विभिन्न बैंक खातों से 15.50 करोड़ रुपये जब्त कर लिए गए थे?

यह भी पढ़ें-World Cup 2023 से आज 4 टीमें होंगी बाहर ! पाकिस्तान और न्यूजीलैंड की अटकी हैं सांसे

प्रमोटरों ने सीएम को 538 करोड़ की रिश्वत दी

स्मृति ईरानी ने कहा कि यह तथ्य चौंकाने वाला है कि जिस शुभम सोनी के बारे में असीम दास ने बयान दिया है, माना जा रहा है कि जांच एजेंसी के पास शुभम सोनी की आवाज के सबूत भी उपलब्ध हैं। असीम दास ने अपने बयान में स्वीकार किया है कि वह आदेश के मुताबिक दुबई गये थे। उन्हें कांग्रेस के चुनाव खर्च के लिए धन देने का आदेश दिया गया। असीम दास ने कबूल किया है कि ये पैसा महादेव ऐप के तहत अवैध सट्टेबाजी का है। असीम दास ने कबूल किया है कि शुभम सोनी महादेव के शीर्ष स्तर के प्रबंधन का हिस्सा है।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि शुभम ने लिखित बयान में कहा है कि महादेव ऐप के प्रमोटरों ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को 538 करोड़ रुपये की रिश्वत दी है। ये ऐसी अकेली जानकारी नहीं है बल्कि एक और चौंकाने वाला तथ्य सामने आया है। महादेव ऑनलाइन बुक ऐप के प्रमोटर, जो प्रशासन और कांग्रेस नेताओं से सुरक्षा चाहते थे, चंद्रभूषण वर्मा नामक अधिकारी के माध्यम से सुरक्षा राशि भी भेजते थे। चंद्रभूषण वर्मा अब तक 65 करोड़ रुपये की रिश्वत ले चुके हैं।

(अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)