चंडीगढ़: हरियाणा के नूंह जिले में शनिवार को तीसरे दिन एक मेडिकल कॉलेज के पास केमिस्ट की दुकानों सहित लगभग 45 अवैध व्यावसायिक दुकानों को जमींदोज कर दिया गया। इसमें हिंसा की आशंका वाली कुछ दुकानें भी शामिल थीं। नलहर रोड एसएचकेएस सरकारी मेडिकल कॉलेज के आसपास अधिकारियों ने 2.6 एकड़ जमीन पर अवैध निर्माण पर बुलडोजर चलाया। ज्यादातर अस्थायी दुकानें सरकारी भूमि पर अतिक्रमण करने वाले अप्रवासियों की थी। इस दौरान भारी पुलिस बल तैनात रहा।
सब-डिविजनल मजिस्ट्रेट अश्विनी कुमार ने मीडिया को बताया, “ये सभी अवैध निर्माण थे। ध्वस्तीकरण के लिए मालिकों को नोटिस दिए गए। हिंसा में अवैध ढांचों के कुछ मालिक भी शामिल थे. नल्हड़ क्षेत्र में तीसरे दिन तोड़फोड़ की कार्रवाई की गई है। यहां की ज्यादातर झुग्गियां उस आरोपी की थीं, जिसने नलहर महादेव मंदिर में छिपे करीब 2,500 तीर्थयात्रियों पर गोलियां चलाई थीं। वन विभाग की जमीन पर अवैध तरीके से झुग्गियां बनाई गई। स्थानीय प्रशासन ने सोमवार की सांप्रदायिक झड़पों में शामिल लोगों के संदिग्ध घरों को ध्वस्त कर दिया है। इस हिंसा में छह लोगों की मौत हो गई और 70 लोग घायल हो गए।
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राज्य के गृह मंत्री अनिल विज ने दावा किया है कि नूंह झड़प के पीछे की हिंसा एक ‘बड़े गेम प्लान’ का हिस्सा थी। हिंसा के सिलसिले में अब तक 176 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। हिंसा पहली बार सोमवार को एक हिंदू धार्मिक जुलूस के दौरान अफवाहों के बाद भड़की कि इसमें भगोड़ा गौरक्षक मोनू मानेसर भी शामिल होगा। मोनू मानेसर भिवानी में हुई हत्याओं का मुख्य आरोपी है। अनिल विज ने कहा कि 31 जुलाई की हिंसा पर उन्हें कोई खुफिया इनपुट साझा नहीं किया गया था और यहां तक कि पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) ने भी उन्हें सूचित किया था कि उनके पास भी जानकारी नहीं थी। चंडीगढ़ में पत्रकारों से बात करते हुए अनिल विज ने कहा कि मेरे साथ कोई खुफिया इनपुट साझा नहीं किया गया। मैंने एसीएस और डीजीपी से भी पूछा था औऱ उन्होंने कहा कि उनके पास भी जानकारी नहीं है।
नूंह हिंसा पर विज ने कहा कि अब एक और वीडियो वायरल हो रहा है जिसमें एक CID इंस्पेक्टर ने दावा किया है कि उसे सब कुछ पहले से पता था़ यदि उसे पता था तो उसने इसकी सूचना किसे दी। राज्य के गृह मंत्री को हिंसा के पीछे किसी बड़े गेम प्लान का संदेह है। उन्होंने कहा कि लोग हाथों में लाठियां लेकर मंदिरों के पास की पहाड़ियों पर चढ़ गए और प्रवेश बिंदुओं पर इकट्ठा हो गए, यह सब उचित योजना के बिना संभव नहीं है। गोलियां चलाई गईं, ये सब एक योजना का हिस्सा है. हम पूरी जांच के बिना किसी नतीजे पर नहीं पहुंचेंगे।
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