एके-200 सीरीज की असॉल्ट राइफल बनाने वाला पहला देश बना भारत, रूस ने की ये मदद

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नई दिल्लीः प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की रूस यात्रा से ठीक पहले दोनों देशों के संयुक्त उपक्रम इंडो-रूसी राइफल्स प्राइवेट लिमिटेड (आईआरआरपीएल) ने रक्षा मंत्रालय को 35 हजार AK-203 असॉल्ट राइफलें सौंप दी हैं। रूस की रोस्टेक स्टेट कॉरपोरेशन रोबोरोनएक्सपोर्ट ने शुक्रवार को कलाश्निकोव राइफलें सौंपने की आधिकारिक घोषणा की। प्रधानमंत्री मोदी 08-10 जुलाई को रूसी संघ और ऑस्ट्रिया गणराज्य की आधिकारिक यात्रा करेंगे। वह 22वें वार्षिक शिखर सम्मेलन में भाग लेंगे।

रक्षा मंत्रायल को सौंपी गई पहली खेप

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 3 मार्च, 2019 को रूस के सहयोग से उत्तर प्रदेश के अमेठी स्थित कोरवा आयुध कारखाने में एके-203 राइफलों के निर्माण की योजना का औपचारिक उद्घाटन किया। करीब एक दशक के इंतजार के बाद पिछले साल जनवरी में अमेठी स्थित इस आयुध कारखाने में AK-203 असॉल्ट राइफलों का उत्पादन शुरू हुआ था इसके साथ ही भारत विश्व प्रसिद्ध ब्रांड कलाश्निकोव की एके-200 सीरीज की असॉल्ट राइफलों का उत्पादन शुरू करने वाला पहला देश बन गया। अब इस फैक्ट्री में निर्मित 35 हजार असॉल्ट राइफलों की पहली खेप रक्षा मंत्रालय को सौंप दी गई है। प्रधानमंत्री मोदी की रूस यात्रा से ठीक पहले रूस के रोस्टेक स्टेट कॉरपोरेशन ने शुक्रवार को औपचारिक रूप से 35 हजार राइफलों के उत्पादन और आईआरआरपीएल द्वारा भारतीय रक्षा मंत्रालय को हस्तांतरित करने की घोषणा की है।

रोबोरोनएक्सपोर्ट के महानिदेशक अलेक्जेंडर मिखेव ने एक बयान में कहा कि शुरू में तैयार होने वाली 7.62X39 मिमी कैलिबर की 70 हजार एके-203 राइफलों में रूसी घटक होंगे लेकिन उसके बाद यह पूरी तरह स्वदेशी हो जाएंगी। राइफलों को स्वदेशी बनाने के लिए सभी आवश्यक उपकरण कोरवा आयुध निर्माणी को भेज दिए गए हैं। शुरुआती बैच को विभिन्न सैन्य इकाइयों को सौंप दिया गया है और अब अगले बैचों का निरीक्षण करके बहुत जल्द उन्हें सौंप दिया जाएगा। रोस्टेक के महानिदेशक सर्गेई चेमेज़ोव ने कहा कि भारत में निर्मित AK-203 राइफलों का मॉडल बेहतरीन एर्गोनॉमिक्स के साथ दुनिया की सबसे बेहतरीन असॉल्ट राइफलों में से एक है। AK-203 असॉल्ट राइफलों का उत्पादन शुरू होने से भारत की रक्षा और कानून प्रवर्तन एजेंसियों द्वारा जल्द ही उच्च गुणवत्ता वाले सुविधाजनक और आधुनिक छोटे हथियारों का इस्तेमाल किया जाएगा। उन्होंने कहा कि रूस और भारत मजबूत साझेदारी संबंधों से जुड़े हुए हैं। रोस्टेक स्टेट कॉरपोरेशन रूस की सबसे बड़ी आयुध निर्माण कंपनी है और रोसोबोरोनएक्सपोर्ट इसका एक हिस्सा है।

AK-203 राइफलों की विशेषताएं

स्वदेश में निर्मित इन राइफलों की लंबाई करीब 3.25 फीट है और गोलियों से भरी राइफल का वजन करीब चार किलोग्राम होगा। यह रात के ऑपरेशन में भी काफी कारगर होगी, क्योंकि यह एक सेकंड में 10 राउंड यानी एक मिनट में 600 गोलियां दाग सकती है। जरूरत पड़ने पर इससे 700 राउंड भी फायर किए जा सकते हैं। दुनिया को सबसे खतरनाक बंदूक देने वाले शख्स का नाम मिखाइल कलाश्निकोव है। AK-47 का नाम उनके नाम पर रखा गया है। AK का पूरा नाम ऑटोमैटिक कलाश्निकोव है।

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AK-203 असॉल्ट राइफल 300 मीटर की रेंज में किसी भी दुश्मन को तबाह कर सकती है। AK-203 असॉल्ट राइफल की गोली की रफ़्तार 715 किलोमीटर प्रति घंटा है। नई असॉल्ट राइफल में AK-47 की तरह ऑटोमैटिक और सेमी-ऑटोमैटिक दोनों सिस्टम होंगे। ट्रिगर दबाने और दबाए रखने पर गोलियां चलती रहेंगी।

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