नई दिल्लीः दलितों के मसीहा कहे जाने वाले देश के पूर्व गृह मंत्री बूटा सिंह का शनिवार सुबह दिल्ली में निधन हो गया। वे 86 साल के थे। कांग्रेस नेता बूटा सिंह 8 बार रहे लोकसभा सदस्य रहे। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बूटा सिंह के निधन पर दुख जताया है।
प्रधानमंत्री ने ट्वीट कर कहा कि बूटा सिंह जी एक अनुभवी प्रशासक के साथ-साथ गरीबों और दलितों के कल्याण के हिमायती थे। उनके निधन से दुखी हूं। उनके परिवार और समर्थकों के प्रति मेरी संवेदना है।
नेहरू-गांधी परिवार के विश्वासपात्र रहे सरदार बूटा सिंह ने भारत सरकार में केंद्रीय गृह मंत्री, कृषि मंत्री, रेल मंत्री, खेल मंत्री और अन्य कार्यभार के अलावा बिहार के राज्यपाल और राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष के रूप में महत्वपूर्ण विभागों का संचालन किया।
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कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ दलित नेता सरदार बूटा सिंह को दलितों का मसीहा कहा जाता था। जब कांग्रेस आपसी कलह और राष्ट्रीय राजनीति में जीवित रहने के लिए जूझ रही है, ऐसे में पार्टी के सबसे बड़े दलित नेता सरदार बूटा सिंह का जाना पार्टी के लिए एक बड़ी क्षति है।
राहुल गांधी ने ट्वीट किया कि सरदार बूटा सिंह के देहांत से देश ने एक सच्चा जनसेवक और निष्ठावान नेता खो दिया है। उन्होंने अपना पूरा जीवन देश की सेवा और जनता की भलाई के लिए समर्पित कर दिया, जिसके लिए उन्हें सदैव याद रखा जाएगा। इस मुश्किल समय में उनके परिवारजनों को मेरी संवेदनाएं।