कोलकाता: हालिया “कैश फॉर क्वेरी” विवाद को लेकर शनिवार को भाजपा के लोकसभा सदस्य निशिकांत दुबे और तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा के बीच एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर एक ताजा लड़ाई छिड़ गई, जिसने राजनीतिक हलकों में सदमे की लहर भेज दी है। शनिवार सुबह महुआ मोइत्रा का नाम लिए बिना दुबे ने एक्स पर लिखा और दावा किया कि सांसद की संसदीय आईडी दुबई से खोली गई थी, जब संबंधित सांसद भारत में थे।
उन्होंने कहा, ”एक सांसद ने चंद रुपयों के लिए देश की सुरक्षा गिरवी रख दी। संसद की आईडी दुबई से खोली गई, उस वक्त सांसद भारत में थे। एनआईसी ने इसकी जानकारी जांच एजेंसी को दी। इसके कुछ घंटे बाद महुआ मोइत्रा ने कई पोस्ट जारी कर चुनौती दी दुबे के दावे और एनआईसी से मामले में प्रासंगिक विवरण जारी करने का अनुरोध। उन्होंने कहा, “एनआईसी से अनुरोध है कि कृपया सांसदों के सभी विवरण सार्वजनिक रूप से जारी करें ताकि यह दिखाया जा सके कि वे उस स्थान पर भौतिक रूप से मौजूद थे जहां से शोधकर्ताओं/प्रशिक्षुओं/कर्मचारियों द्वारा उनके पीए और आईडी तक पहुंच बनाई गई थी। किसी फर्जी डिग्री वाले व्यक्ति का इस्तेमाल लीक के लिए न करें, इसे अभी सार्वजनिक करें।” पश्चिम बंगाल के नादिया में कृष्णानगर निर्वाचन क्षेत्र से तृणमूल सांसद ने यह भी दावा किया कि उन्हें इस मामले में केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा की जा रही छापेमारी की जानकारी है।
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उन्होंने अपने पत्र में कहा, “सीबीआई छापे के बारे में भी संदेश मिला है। मैं दुर्गा पूजा में व्यस्त हूं। मैं सीबीआई को घर आकर मेरे जूतों की जोड़ी गिनने के लिए आमंत्रित करती हूं। लेकिन पहले कृपया अडानी द्वारा भारतीयों से चुराई गई जानकारी पर नजर डालें।” 13,000 करोड़ रुपये की एफआईआर दर्ज करें। शुक्रवार को ही उन्होंने मीडिया से बातचीत को लेकर संसद की आचार समिति के अध्यक्ष पर सवाल उठाए थे। उन्होंने यह भी सवाल किया कि दुबई स्थित व्यवसायी दर्शन हीरानंदानी का हलफनामा विभिन्न मीडिया घरानों तक कैसे पहुंचा।
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