मध्य प्रदेश में आफत की बारिश, कई नदियां उफनाई, 5 संभागों में चेतावनी जारी

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Heavy rain warning in many parts of the country

भोपाल: प्रदेश में शुक्रवार और शनिवार को हुई भारी बारिश के कारण नर्मदा, शिप्रा, चंबल, कालीसिंध समेत सभी छोटी-बड़ी नदियां उफान पर हैं। राज्य के ज्यादातर बांध लबालब होने लगे हैं, जिससे बाढ़ का खतरा पैदा हो गया है। शनिवार को बरगी, ओंकारेश्वर, इंदिरा सागर और यशवंत सागर बांध के गेट खोलकर पानी छोड़ा गया है। इधर, मौसम विभाग ने रविवार को भी राज्य के पांच जिलों में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है।

यशवंतसागर बांध के चार गेट खुले 

शनिवार को प्रदेश के 20 जिलों में बारिश हुई। इंदौर, उज्जैन, बैतूल, नर्मदापुरम, खंडवा, हरदा में स्कूल बंद करने पड़े। इंदौर के महेश नगर की निचली झुग्गियों में मकान खाली कराने पड़े। कबूतरखाना इलाके में भी कई परिवारों को बचाया गया। सुपर कॉरिडोर पर सर्विस रोड की पुलिया से स्टाफ की मिनी बस बह गई। विमान में सवार सभी 15 लोग सुरक्षित हैं। गांधी नगर क्षेत्र और एमआर-10 के हिस्से में पानी भर गया। यशवंतसागर बांध के चार गेट खोलने पड़े। उज्जैन के नागदा में रेलवे स्टेशन के पास दिल्ली जाने वाले अप और डाउन रेल ट्रैक पर पानी भर गया। शिप्रा उफान पर आ गई और रामघाट के मंदिर जलमग्न हो गए। बारिश के कारण दिल्ली-मुंबई रेलवे ट्रैक पर रतलाम और दाहोद के बीच पहाड़ी से बड़े-बड़े पत्थर गिर गए। धोलावड़ बांध का एक गेट खोला गया। खंडवा में ओंकारेश्वर बांध के सभी 23 गेट खोल दिए गए हैं, जिससे नर्मदा का पानी ज्योतिर्लिंग की सीढ़ियों तक पहुंच गया है। इंदौर-इच्छापुर हाईवे पर मोरटक्का ब्रिज को बंद कर ट्रैफिक रोकना पड़ा।

नर्मदापुरम में तवा बांध के सभी गेट 20 फीट तक खोलने पड़े, जिससे सेठानी घाट पर नर्मदा का जलस्तर बढ़ गया। नर्मदापुरम-हरदा-खंडवा स्टेट हाईवे बंद रहा। शिवपुर के पास बिसोनी गांव में मोरन नदी के बाढ़ क्षेत्र में आठ भेड़पालक फंस गये। उन्हें बचा लिया गया। राजधानी भोपाल में भी शनिवार को दिनभर हल्की बारिश होती रही। बड़ा तालाब, कोलार, कलियासोत और केरवा डैम में जलस्तर बढ़ गया। बड़वानी शहर के पास सजवानी गांव में नहर फूट गई, जिसका पानी घरों और खेतों में भर गया। सड़क पर पानी पहुंचने से बड़वानी-सेंधवा स्टेट हाईवे पर यातायात बंद कर दिया गया। देवास, शाजापुर, रायसेन, विदिशा, अशोकनगर, हरदा, बुरहानपुर, मंदसौर, बैतूल में भी हालात खराब हो गए हैं। मौसम विभाग के वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ। वेदप्रकाश सिंह ने बताया कि उत्तरी बंगाल की खाड़ी और इससे सटे ओडिशा तट के आसपास कम दबाव का क्षेत्र, चक्रवाती परिसंचरण तंत्र सक्रिय है। मानसून ट्रफ लाइन भी गुजर रही है। ये सिस्टम बारिश का कारण बन रहे हैं। 18 सितंबर की सुबह यह सिस्टम गुजरात की ओर बढ़ेगा, जिससे बारिश की गतिविधियां कम हो जाएंगी।

इन जिलों में भारी बारिश की आशंका

मौसम विभाग ने इंदौर, रतलाम, झाबुआ, अलीराजपुर और धार के लिए रेड अलर्ट जारी किया है। यहां 24 घंटे में 8 इंच से ज्यादा पानी गिर सकता है। वहीं, उज्जैन, मंदसौर, खरगोन और बड़वानी में भी भारी बारिश हो सकती है। अनुमान है कि यहां 24 घंटे में 4.25 से 8 इंच बारिश होगी। आगर-मालवा, देवास, हरदा, नर्मदापुरम, बैतूल, नीमच, नरसिंहपुर, छिंदवाड़ा, सिवनी, सागर, छतरपुर और निवाड़ी में मध्यम से भारी बारिश की संभावना है। इन जिलों में 24 घंटे में 4 इंच तक पानी गिरने की आशंका है। वहीं, भोपाल, ग्वालियर, रायसेन, विदिशा, सागर, नरसिंहपुर, छिंदवाड़ा, सिवनी, बालाघाट, मंडला, जबलपुर, दमोह, पन्ना, कटनी, उमरिया, डिंडोरी, शहडोल, अनुपपुर, सीधी, सिंगरौली, रीवा, सतना, छतरपुर, टीकमगढ़, निवाड़ी, अशोकनगर, गुना, शिवपुरी, श्योपुर कलां, मुरैना, दतिया और भिंड में हल्की बारिश की संभावना है।

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