Delhi Suicide Case , नई दिल्ली: देश की राजधानी दिल्ली से एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है। यहां एक पिता ने अपनी चार दिव्यांग बेटियों के साथ आत्महत्या कर ली। यह घटना वसंत कुंज के रंगपुरी गांव की है। मृतक हीरालाल (50) की पत्नी की पहले ही मौत हो चुकी थी। वह अपनी चार बेटियों नीतू (18), निशी (15), नीरू (10) और निधि (8) के साथ रहता था। सभी बेटियां दिव्यांग थीं और चलने में असमर्थ थीं।
दुर्गंध आने पर हुआ खुलासा
बता दें कि हीरालाल वसंत कुंज स्थित स्पाइनल इंजरी अस्पताल में कारपेंटर का काम करता था। शुक्रवार को जब हीरालाल के फ्लैट से दुर्गंध आने लगी तो स्थानीय लोगों ने पुलिस को सूचना दी। शुक्रवार दोपहर फ्लैट का ताला तोड़ा गया और शवों को बाहर निकाला गया। पुलिस ने मकान मालिक और अन्य लोगों की मौजूदगी में दरवाजा तोड़ा तो वहां पांच शव पड़े थे। शवों को बाहर निकालकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया।
पुलिस के मुताबिक फ्लैट में कुछ संदिग्ध घटना की सूचना मिली थी। जब वे मौके पर पहुंचे तो वहां से दुर्गंध आ रही थी। फ्लैट का दरवाजा तोड़ना पड़ा। एक कमरे में बिस्तर पर पुरुष का शव मिला, जबकि दूसरे कमरे में लड़कियों के शव मिले। मौके से साक्ष्य जुटाने के लिए सीबीआई एफएसएल टीम को बुलाया गया। सूत्रों के अनुसार परिवार ने सल्फास खाकर आत्महत्या की है। फिलहाल पुलिस मामले की जांच की जा रही है।
जांच में जुटी पुलिस
डीसीपी रोहित मीना ने बताया कि शवों पर चोट के निशान नहीं मिले हैं, लेकिन घर के अंदर सल्फास के तीन पैकेट, पांच गिलास और एक चम्मच में संदिग्ध तरल पदार्थ मिला है। धारा 194 बीएनएसएस के तहत मामला दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी गई है। शवों के पोस्टमार्टम के लिए मेडिकल बोर्ड का गठन किया गया है और सभी कोणों से आगे की जांच की जा रही है।
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बेटियों के इलाज को लेकर था परेशान
मृतक के भाई मोहन शर्मा और भाभी गुड़िया शर्मा ने बताया कि पत्नी की मौत के बाद हीरालाल ने पारिवारिक मामलों में रुचि लेना बंद कर दिया था। वह हमेशा किसी न किसी अस्पताल में अपनी बेटियों के इलाज में व्यस्त रहता था। बेटियां भी कमरे से बहुत कम ही बाहर निकलती थीं। मृतक और उसके परिवार को पड़ोसियों ने आखिरी बार 24 सितंबर को देखा था। हालांकि, पुलिस को अभी तक कोई सुसाइड नोट नहीं मिला है।