क्राइम

नाबालिग से दुष्कर्म और महिला से जबरन धर्मांतरण पर आयोग ने उठाए सवाल, मांगी रिपोर्ट

gangrape भोपालः राजधानी भोपाल में नाबालिग से दुष्कर्म और दूसरे राज्य की महिला का जबरन धर्मांतरण कराने की कोशिश का मानवाधिकार आयोग ने संज्ञान लिया है। दोनों ही मामलों में मध्य प्रदेश मानवाधिकार आयोग ने पुलिस आयुक्त भोपाल को जांच कर तीन सप्ताह के भीतर की गई कार्रवाई की रिपोर्ट देने को कहा है। आयोग द्वारा मंगलवार को दी गई जानकारी के मुताबिक भोपाल में एक 17 वर्षीय किशोरी ने आरोप लगाया है कि उसके कोचिंग सेंटर संचालक के पति ने उसके साथ जबरन दुष्कर्म किया। वहीं एक अन्य मामले में दूसरे राज्य की महिला से दुर्व्यवहार और जबरन धर्म परिवर्तन कराने का प्रयास किया गया है।

आंगनबाड़ी केंद्रों में सेनेटरी पैड नहीं मिल रहे हैं

महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा संचालित उदिता परियोजना के तहत पिछले एक साल से उदिता कार्नर पर सैनिटरी पैड उपलब्ध नहीं होने के मामले में मप्र मानवाधिकार आयोग ने प्रमुख सचिव महिला एवं बाल विभाग से जांच करायी है। विकास विभाग, मंत्रालय, भोपाल ने उदिता परियोजना को निर्देशित किया कि इस संबंध में एक माह में सभी आंगनबाडी केन्द्रों पर सेनेटरी पैड की उपलब्धता सुनिश्चित करने हेतु आवश्यक जागरूकता एवं कार्रवाई हेतु प्रतिवेदन मंगवाया गया है। यह भी पढ़ेंः-महाराष्ट्र सरकार के इस अभियान के ब्रांड एंबेसडर बने सचिन तेंदुलकर

घर-घर झाड़ू का काम करती है नाबालिग

अशोकनगर जिले के बहादुरपुर में पिछले छह माह से 12 वर्षीय नाबालिग अपनी आठ वर्षीय चचेरी बहन के साथ कस्बे के करीब बीस घरों में सफाई का काम कर रही है। उनके काम में घरों के सामने सड़क की सफाई करना, नालियों की सफाई करना और कुछ घरों के शौचालयों की सफाई करना शामिल है। इसके बदले उसे हर घर से एक रोटी और तीस रुपए महीने मिलते हैं। नाबालिग के इस काम से तीन परिवारों की रोजी-रोटी चल रही है। मध्य प्रदेश मानवाधिकार आयोग ने मामले पर संज्ञान लेते हुए कलेक्टर अशोक नगर को मामले की जांच कर तीन सप्ताह के भीतर जवाब मांगा है। (अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)