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गेड़ी दौड़ के साथ Chhattisgarhiya Olympics का आगाज, CM ने दिखाई हरी झंडी

Chhattisgarhiya-Olympics-2023

रायपुर: हरेली पर्व (Hareli Tihar 2023) के साथ छत्तीसगढ़िया ओलिंपिक (Chhattisgarhiya Olympics 2023) के पारंपरिक खेलों की शुरुआत हो गई। इस आयोजन में छत्तीसगढ़ी खेल के रंग देखने को मिलेंगे। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सोमवार को हरेली त्यौहार के अवसर पर रायपुर के नवागांव ग्राम पंचायत में गेड़ी दौड़ (Gedi race) को हरी झंडी दिखाकर छत्तीसगढ़िया ओलंपिक (Chhattisgarhiya Olympics 2023) का शुभारंभ किया। मुख्यमंत्री ने खेल सामग्री भी वितरित की।

दरअसल, छत्तीसगढ़िया ओलंपिक (Chhattisgarhiya Olympics 2023) के आयोजन का यह दूसरा साल है। इसकी लोकप्रियता को देखते हुए इसमें पहली बार रस्सी कूद और कुश्ती जैसे खेलों को भी शामिल किया गया है। इस बार ओलिंपिक में 16 पारंपरिक स्पर्धाओं के साथ छह चरणों में छत्तीसगढ़िया प्रतियोगिता होगी। छत्तीसगढ़िया ओलंपिक (Chhattisgarhiya Olympics 2023) में तीन अलग-अलग आयु वर्ग के 30 लाख से अधिक महिला और पुरुष प्रतिभागी हिस्सा लेंगे और अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन करेंगे।

मुख्यमंत्री बघेल ने कहा कि तीन वर्ष पहले आज ही के दिन गोधन न्याय योजना की शुरूआत की गई थी। हरेली साल का पहला त्यौहार है। किसान कृषि उपकरणों और गाय की पूजा करते हैं। बच्चे गेड़ी चढ़कर यह त्यौहार मनाते हैं। इस बार हमारे राज्य में अच्छी बारिश हुई है। रोपा 18 जुलाई से शुरू होगा। इस साल अच्छी फसल की उम्मीद है। इस साल आपको प्रति एकड़ 20 क्विंटल धान बेचना है।

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छत्तीसगढ़िया सबले बढ़िया

प्रदेश की संस्कृति की चर्चा करते हुए CM भूपेश बघेल ने कहा कि हमारी बोली और संस्कृति पर हमारा गौरव बढ़ा है। जो लोग बासी खाना खाने से कतराते थे, आज वो फोटो खींचकर भेजते हैं और कहते हैं कि मैं भी बासी बोरियां खा रहा हूं. हम आस्था के केन्द्रों का संरक्षण एवं संवर्धन कर रहे हैं। राजिम मेले में बुनियादी सुविधाओं का विकास किया गया है। राष्ट्रीय रामायण महोत्सव और राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव के आयोजन के माध्यम से संस्कृति को बढ़ावा देने का काम किया गया है। हर ब्लॉक में मॉडल पिलर बनाए जा रहे हैं। हमारे पुरखों द्वारा दिए गए शांति के संदेश ने छत्तीसगढ़ को शांति का द्वीप बना दिया है, इसीलिए कहा जाता है कि छत्तीसगढ़िया सबले बढ़िया।

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