Chhath Puja 2024: लोक आस्था के महापर्व छठ के चौथे दिन शुक्रवार को जिले के विभिन्न छठ घाटों पर उगते सूर्य को अर्घ्य देने के साथ ही छठ संपन्न हो गया। गुरुवार की शाम अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य देने के बाद आधी रात से ही परमान नदी के त्रिसुलिया घाट, नहर समेत विभिन्न तालाबों व सरोवरों में बने घाटों पर छठ व्रतियों की भीड़ जुटने लगी थी।
घाट पर भगवान भास्कर की पूजा करने के बाद छठ व्रतियों ने बहते जल में खड़े होकर छठी मइया की पूजा की। प्रकृति को समर्पित प्राकृतिक चीजों से मनाए जाने वाले लोक आस्था के इस महापर्व छठ में व्रतियों ने फलों व पूजन सामग्री से सजे सूप में अर्घ्य दिया।
Chhath Puja 2024: सुरक्षा के रहे कड़े इंतजाम
छठ को लेकर जिला प्रशासन ने सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए थे। घाटों समेत यातायात को नियंत्रित करने में पुलिस पदाधिकारी व बल लगे रहे। जिला प्रशासन विभिन्न घाटों पर नियंत्रण कक्ष स्थापित कर निगरानी करता रहा। घाटों पर साफ-सफाई व रोशनी की व्यापक व्यवस्था की गई थी।
किसी भी दुर्घटना से निपटने के लिए जिला प्रशासन ने अररिया व फारबिसगंज में एसडीआरएफ की टीम के साथ गोताखोरों को भी तट से तैनात किया था। पूरा घाट छठ गीतों से गूंज रहा था। विभिन्न घाटों पर भगवान भास्कर की प्रतिमा स्थापित की गई थी। जहां व्रतियों ने माथा टेका और अर्घ्य दिया। छठ डाला के साथ मध्यांतर के बाद व्रती सिर पर या ठेले पर सवार होकर घाट पर गए।
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Chhath Puja 2024: छठ व्रतियों के लिए किए गए थे खास प्रबंध
घाट से पहले जिला प्रशासन द्वारा वाहनों की पार्किंग की व्यवस्था की गई थी। जहां तैनात दंडाधिकारी व पुलिस पदाधिकारी बलों के साथ वाहनों को पार्किंग स्थल पर पार्क कराने में लगे रहे। सांसद व विधायक समेत त्रिस्तरीय पंचायती राज के प्रतिनिधि घूम-घूम कर छठ व्रतियों से आशीर्वाद लेते नजर आए। घाटों पर निगरानी के लिए वॉच टावर बनाया गया था तथा महिला व्रतियों के लिए वस्त्र बदलने के लिए चेंजिंग रूम की व्यवस्था की गई थी।