Saturday, April 12, 2025
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राजस्थान में एक्टिव मोड पर बसपा, इन 60 सीटों के लिए बनाया ‘खास प्लान’

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जयपुरः कांग्रेस और भाजपा के ‘मिशन राजस्थान’ के बीच अन्य राजनीतिक दल और क्षेत्रीय पार्टियां भी अपना दमखम दिखाने में जुट गई हैं। बहुजन समाज पार्टी भी इस वर्ष प्रस्तावित विधानसभा चुनाव में ज़्यादा से ज़्यादा सीटें जीतकर ‘बैलेंस ऑफ़ पॉवर’ की स्थिति में आने की जद्दोजहद में है। 200 विधानसभा सीटों पर प्रत्याशी उतारने का ऐलान कर चुकी बसपा फिलहाल 60 सीटों पर फतह पाने का मकसद लेकर चल रही है।

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बसपा प्रदेश नेतृत्व ने अब नए सिरे से बूथ कमेटियों के गठन का काम शुरू कर दिया है। सभी प्रदेश पदाधिकारियों को अगले एक माह के भीतर बूथ इकाइयों का दौरा कर बूथ कमेटियां गठित करने का निर्देश दिया गया है। ऐसे में पदाधिकारी अब राज्य नेतृत्व द्वारा निर्देशित क्षेत्रों में डेरा डालेंगे और वहां बूथ समितियां बनाएंगे। बसपा के प्रदेश अध्यक्ष भगवान सिंह बाबा ने बातचीत में कहा कि पिछले विधानसभा चुनाव से पार्टी की कई बूथ समितियां निष्क्रिय थीं, जिन्हें अब नए सिरे से बनाने पर ध्यान दिया जा रहा है। इन बूथ कमेटियों का गठन कर इनमें अध्यक्ष व सचिव की नियुक्ति की जाएगी।

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प्रदेशाध्यक्ष भगवान् सिंह बाबा ने बताया कि बिना बूथ समितियों के विधानसभा सीट जीतना मुश्किल है। यही वजह है कि फिलहाल प्रदेशभर की चुनिंदा 60 विधानसभा सीटों पर बूथ समितियों का प्राथमिकता से गठन करने पर फोकस है। प्रदेश और जिला पदाधिकारियों को विधानसभाएं बांटकर बूथ समितियां बनाने के निर्देश दिए गए हैं। पार्टी का मानना है कि बूथ समितियों के गठन और उनकी मजबूती से सक्रियता से ही विधानसभा सीट जीती जा सकती है। कोशिश है कि अगले एक महीने तक ज़्यादा से ज़्यादा बूथ समितियों का गठन कर लिया जाएगा।

‘मिशन राजस्थान’ में बसपा एक्टिव मोड पर है। जिलेवार बैठकों के साथ ही ग्रामीण क्षेत्रों में पकड़ बनाने के लिए ‘बसपा चली गांव की ओर’ जैसे अभियान भी जारी हैं। बसपा ने वर्ष 2018 विधानसभा चुनाव में 6 सीटों पर जीत हासिल की थी। हालांकि, बाद में विधायकों के दल-बदल कर कांग्रेस में शामिल होने के बाद विधानसभा में पार्टी सदस्यों की संख्या शून्य हो गई। पार्टी ने इसके लिए कानूनी लड़ाई भी लड़ी, लेकिन असफल रही। ऐसे में बसपा एक बार फिर नई रणनीति के साथ चुनावी मैदान में उतर रही है।

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