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बाबूलाल मरांडी ने विधानसभा स्पीकर को घेरा, बोले- सीएम के इशारे पर नेता प्रतिपक्ष का मामला लटकाया

[caption id="attachment_653664" align="alignnone" width="721"]babulal-marandi babulal-marandi[/caption] रांची: भाजपा नेता विधायक दल एवं पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी (Babulal Marandi) ने गुरुवार को नेता प्रतिपक्ष मामले में विधानसभा स्पीकर को कटघरे में खड़ा किया। मरांडी ने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष मुख्यमंत्री के इशारे पर मामले को लटकाए बैठे हैं। प्रदेश भाजपा ने विधायक दल का नेता चयन कर विधानसभा सचिवालय को विधिसम्मत सूचना दी है। पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि चुनाव आयोग एक संवैधानिक संस्था है, जिसने बीजेपी व झारखंड विकास मोर्चा के विलय को मान्यता दी और दो बार राज्यसभा चुनाव में बीजेपी विधायक के रूप में वोट देने का अधिकार दिया। चुनाव आयोग ने इस फैसले से अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी। इसके बाद भी विधानसभा स्पीकर की ओर से उन्हें नेता प्रतिपक्ष का दर्जा न देना एक राजनीतिक साजिश है, जो राज्य सरकार के इशारे पर हो रही है। ये भी पढ़ें..नियुक्ति भ्रष्टाचार मामले में सीबीआई की छापेमारी से हुए बड़े खुलासे, कालीघाट वाले काकू के घर.. बाबूलाल मरांडी ने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पर आरोप लगाते हुए कहा कि राज्य सरकार लोकायुक्त का चयन नेता प्रतिपक्ष की अनुशंसा से नहीं करना चाहती। ऐसा इसलिए क्योंकि सूचना आयुक्त के चयन से राज्य सरकार की असफलताएं जाहिर हो जाएंगी। लोकायुक्त द्वारा राज्य में भ्रष्टाचार की जांच होगी। बाबूलाल मरांडी ने आगे कहा कि भले ही सोरेन सरकार राज्य में महत्वपूर्ण संवैधानिक पदों को भरने से रोक दे, लेकिन देश की अन्य संवैधानिक एजेंसियां जांच कर रही हैं। राज्य की हेमंत सोरेन सरकार पर जांच एजेंसियां लगातार अपना शिकंजा कसती जा रही हैं। (अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)