फेक बर्थ सर्टिफिकेट मामले में आजम, अब्दुल्ला व तंजीम को 7-7 साल की सजा

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लखनऊः समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता आजम खान को आज कोर्ट ने बड़ा दिया है। रामपुर की एमपी-एमएलएल कोर्ट ने बर्थ सर्टिफिकेट मामले में आजम खान उनकी पत्नी तंजीन फातिमा और उनके बेटे अब्दुल्ला आजम को दोषी ठहराते हुए सात-सात साल की सजा सुनाई है। सजा मिलने के बाद तीनों को सीधे जेल ले जाया गया।

बता दें कि 2017 में हुए विधानसभा के चुनावों में आजम खान के बेटे अब्दुल्ला आजम स्वार विधानसभा सीट पर समाजवादी पार्टी की टिकट पर चुनाव लड़े थे और उन्होंने इसमें जीत भी दर्ज की थी। लेकिन चुनाव जीतने के बाद उन पर उम्र में धांधली करने का आरोप लगाया गया। जिसमें कहा गया कि उन्होंने चुनावी फॉर्म में जो उम्र में बताई है असल में उनकी उम्र वो नहीं है।

रद्द किया गया चुनाव

इन आरोपों के बाद स्वार विधानसभा का चुनाव रद्द कर दिया गया क्योंकि आरोप था कि अब्दुल्ला आजम चुनाव लड़ने की जो उम्र का पैमाना है वो अभी पूरा नहीं करते हैं। एजुकेशनल सर्टिफिकेट में अब्दुल्ला का जन्म प्रमाण 1 जनवरी 1993 है जबकि जन्म प्रमाण पत्र के आधार पर उनका जन्म 30 सितंबर 1990 को बताया गया है। जिसके बाद यह मामला हाईकोर्ट पहुंचा था जहां सुनवाई के बाद स्वार सीट से चुनाव रद्द कर दिया गया।

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एक सर्टिफिकेट में लखनऊ का पता

आरोप है कि अब्दुल्ला आजम बर्थ सर्टिफिकेट पासपोर्ट-विदेशी दौरे और सरकारी कामों में उपयोग करते थे। दरअसल, आरोप के मुताबिक अब्दुल्ला आजम के पास दो अलग-अलग सर्टिफिकेट हैं। एक 28 जून 2012 को रामपुर नगर पालिका ने जारी किया गया है, उसमें अब्दु्ल्ला आजम का जन्मस्थान रामपुर दिखाया गया। वहीं दूसरा जन्म प्रमाण पत्र जनवरी 2015 में जारी किया गया है, जिसमें लखनऊ को उनका बर्थ प्लेस दिखाया गया है। इन दोनों का उन्होंने अलग-अलग कामों में एक साथ प्रयोग किया है।

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