देहरादूनः मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी (Chief Minister Pushkar Singh Dhami) ने सोमवार को मसूरी गोलीकांड की बरसी (Anniversary of Mussoorie firing incident) पर शहीद राज्य आंदोलनकारियों को श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा कि बलिदानियों ने अपने खून से उत्तराखंड की नींव को सींचा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार राज्य आंदोलनकारियों के सपनों के अनुरूप उत्तराखंड के विकास के लिए प्रतिबद्धता के साथ काम कर रही है। सोमवार को मुख्यमंत्री धामी ने मसूरी गोलीकांड की 30वीं बरसी (30th anniversary of Mussoorie firing incident) के मौके पर मसूरी शहीद स्मारक पहुंचकर शहीद राज्य आंदोलनकारियों को श्रद्धांजलि दी। इस दौरान राज्य आंदोलनकारियों ने 10 प्रतिशत क्षैतिज आरक्षण की व्यवस्था लागू करने के लिए मुख्यमंत्री का आभार जताया।
आंदोलनकारियों के सपनों के अनुरूप सरकार कर विकास
इस दौरान आयोजित कार्यक्रम में मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि हमारे राज्य आंदोलनकारियों ने अपने प्राणों की परवाह किए बगैर अपना सब कुछ बलिदान कर दिया। शहीद आंदोलनकारियों ने उत्तराखंड के लिए जो सपने देखे थे, उन्हें पूरा करने के लिए राज्य सरकार काम कर रही है। उन्होंने कहा हम अपने अमर बलिदानियों के सर्वोच्च बलिदान को कभी नहीं भूल सकते। तत्कालीन सरकार ने शांतिपूर्ण आंदोलन को क्रूरतापूर्वक कुचलने का काम किया।
मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि शहीद आंदोलनकारियों का सपना ऐसा उत्तराखंड बनाने का था जहां सभी को समान अधिकार मिले। राज्य सरकार इसी लक्ष्य के साथ आगे बढ़ रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हाल ही में जारी नीति आयोग की सतत विकास लक्ष्यों की रैंकिंग में उत्तराखंड ने नंबर वन स्थान प्राप्त किया है। राज्य में विकास के साथ-साथ पर्यावरण संतुलन पर भी विशेष ध्यान दिया जा रहा है। राज्य में जीईपी की शुरुआत की गई है। मुख्यमंत्री ने राज्य आंदोलनकारियों का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि राज्य आंदोलनकारियों एवं उनके आश्रितों के लिए 10 प्रतिशत क्षैतिज आरक्षण की व्यवस्था लागू की गई है तथा पेंशन दी जा रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य आंदोलन में हमारी नारी शक्ति की बड़ी भूमिका रही है। इसी को देखते हुए राज्य सरकार ने राज्य की सरकारी सेवाओं में महिलाओं को 30 प्रतिशत आरक्षण देने का निर्णय लिया है। राज्य में नकल विरोधी सख्त कानून लागू किया गया है। सौ से अधिक नकल माफियाओं को सलाखों के पीछे भेजा गया। राज्य की जनसांख्यिकी में बदलाव न हो, इसके लिए भूमि जिहाद के खिलाफ सख्त कार्रवाई की गई।
मसूरी के बलिदानियों की याद में बनेगा संग्रहालय
मुख्यमंत्री ने कहा कि मसूरी में शहीद स्मारक में बलिदानियों की याद में संग्रहालय (Museum) बनाया जाएगा। भावी पीढ़ी को हमारे राज्य आंदोलनकारियों के बारे में जानना जरूरी है। कार्यक्रम के बाद मुख्यमंत्री ने मसूरी में इंद्रमणि बडोनी की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर उन्हें श्रद्धांजलि भी दी।
बिना किसी कारण के चलाई गई गोलियां: गणेश जोशी
कार्यक्रम में कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी ने कहा कि एक सितंबर को खटीमा गोलीकांड के बाद मसूरी में लोगों में काफी आक्रोश था। जिसके चलते दो सितंबर को आंदोलनकारी ऊधमसिंह नगर खटीमा में एक सितंबर को हुए खटीमा गोलीकांड के विरोध में शांतिपूर्वक क्रमिक अनशन कर रहे थे। इस दौरान तत्कालीन सरकार के निर्देश पर पीएसी और पुलिस ने बिना किसी कारण और बिना किसी पूर्व चेतावनी के प्रदर्शनकारियों पर फायरिंग शुरू कर दी, जिसमें आंदोलनकारी बलबीर सिंह नेगी, धनपत सिंह, राय सिंह बंगारी, मदन मोहन ममगाईं, बेलमती चौहान और हंसा धनाई शहीद हो गए।
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उन्होंने कहा कि उत्तराखंड को अलग राज्य बनाने में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की अहम भूमिका रही। कार्यक्रम में भाजपा प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट, पूर्व विधायक जोत सिंह गुनसोला, मसूरी नगर पालिका के पूर्व अध्यक्ष मनमोहन सिंह मल्ल और राज्य आंदोलनकारी मौजूद रहे।
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