Monday, October 28, 2024
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गुरु पूर्णिमा उत्सव में सीएम योगी बोले-अवसर को अनुकूल बनाकर चलने पर मिलती है सफलता

गोरखपुरः मुख्यमंत्री एवं गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जीवन में अवसर सबको मिलता है, लेकिन उन अवसरों को सकारात्मकता के साथ अपने, समाज एवं देशहित के अनुकूल बनाकर आगे बढ़ने वाला ही सफल होता है। यदि किसी समस्या का समाधान करना है तो सकारात्मकता यानी अच्छी सोच होनी चाहिए। जो नकारात्मक हैं, वे अच्छा कर भी नहीं सकते। सकारात्मक व्यक्ति समाधान का रास्ता बनाता है जबकि नकारात्मक व्यक्ति समाधान न होने के बहाने गिनाता है।

गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ बुधवार को गुरु पूर्णिमा पर्व पर गोरखनाथ मंदिर में आयोजित समारोह को संबोधित कर रहे थे। महंत दिग्विजयनाथ स्मृति सभागार में आयोजित कार्यक्रम में सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि हमारे सनातन संस्कृति में पर्व-त्योहारों की विशिष्ट परंपरा किसी न किसी विशिष्ट एवं युगांतकारी घटना से जुड़कर हमें प्रेरणा देती है। श्रीरामनवमी, वासंतिक नवरात्रि, शिवरात्रि, शारदीय नवरात्रि, विजयादशमी, दीपावली, मकर संक्रांति, श्रीकृष्णजन्माष्टमी, सावन में पावन ज्योतिर्लिंगों का जलाभिषेक, नाग पंचमी आदि पर्वों से जुड़ी युगांतकारी घटनाओं की जीव सृष्टि के संरक्षण तथा मानव कल्याण में बड़ी और स्मरणीय भूमिका रही है। ऐसा ही प्रमुख एवं पावन पर्व गुरु पूर्णिमा भी है। उन्होंने आदि गुरु वेदव्यास को नमन करते हुए कहा कि महर्षि वेदव्यास की जयंती, व्यास पूर्णिमा ही गुरु पूर्णिमा के रूप में प्रतिष्ठित है। हमारे वैदिक ज्ञान को लिपिबद्ध कर सर्वसुलभ बनाने में युगांतकारी ऋषि वेदव्यास का अनिर्वचनीय योगदान है। उनके ग्रन्थ मानव सृष्टि पर बड़ी कृपा हैं। गुरु के रूप में वेदव्यास के प्रति श्रद्धा एवं सम्मान में किसी भी आयोजन में व्यास की गद्दी सर्वोच्च गद्दी मानी जाती है। गीता में भी श्रद्धा की दृष्टि का उल्लेख किया गया है।

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मुख्यमंत्री ने कहा कि आजादी के 75 वर्ष पूर्ण होने के अवसर पर हमें शताब्दी वर्ष अर्थात अगले 25 वर्ष के लिए लक्ष्य बनाने और उसके अनुरूप कार्ययोजना बनानी होगी। हमारा लक्ष्य आजादी के शताब्दी वर्ष तक भारत को वैभवशाली और समृद्धतम देश बनाने का होना चाहिए। जैसे हम अभिभावक के रूप में अपने बच्चे के लिए लक्ष्य को लेकर सजग रहते हैं, वही भावना देश के प्रति भी होनी चाहिए। सामूहिक प्रयास से आने वाली सदी भारत की होगी। भारत दुनिया का नेतृत्व करेगा। विगत आठ वर्षों में भारत की तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्था और ताकत का दुनिया लोहा मान रही है। देश अपने लक्ष्यों के प्रति एकदम सही ट्रैक पर है। जरूरत इस बात की है कि हर व्यक्ति अपने-अपने क्षेत्र में दायित्वों का ईमानदारी से निर्वहन करे। उन्होंने कहा कि आजादी के अमृत महोत्सव के साथ ही देश को आजादी दिलाने वाले महापुरुषों की जयंती पर भी विशिष्ट आयोजन होने चाहिए। उन्होंने काकोरी, चौरीचौरा क्रांति, डोहरिया के आंदोलन आदि के सविस्तार उल्लेख के साथ ही स्वतंत्रता प्राप्ति में रानी लक्ष्मीबाई, बंधु सिंह, मंगल पांडेय, धनसिंह गुर्जर, पंडित राम प्रसाद बिस्मिल, चंद्रशेखर आजाद, ठाकुर रोशन सिंह, अशफाक उल्ला खां आदि बलिदानियों के योगदान की चर्चा भी की। मुख्यमंत्री ने कहा कि आजादी के अमृत महोत्सव के अंतर्गत 11 से 17 अगस्त तक हर घर पर आन, बान, सम्मान का प्रतीक तिरंगा लहराएगा। इस दौरान सप्ताह भर सेनानियों की याद में अनेक आयोजन भी होंगे। हम सभी को राष्ट्र निष्ठा के साथ इन आयोजनों से जुड़कर अमृत महोत्सव को सार्थक बनाना होगा। तिरंगा, संविधान, राष्ट्र गीत और राष्ट्र गान सिर्फ प्रतीक नहीं हैं बल्कि सम्पूर्ण प्रेरणा हैं। इनका सम्मान हम सबका दायित्व है।

टीम वर्क से मिला इंसेफेलाइटिस पर नियंत्रण
मुख्यमंत्री ने कहा कि चार साल पहले तक जुलाई माह शुरू होते ही पूर्वी उत्तर प्रदेश की जनता इंसेफेलाइटिस को लेकर सशंकित रहती थी। प्रति वर्ष 1200 से 1500 बच्चों की मौत इंसेफेलाइटिस से हो जाती थी। सरकार ने व्यवस्थाएं कीं और टीम वर्क से इंसेफेलाइटिस पर 95 प्रतिशत तक नियंत्रण पा लिया है। उन्होंने इस टीम वर्क में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता, आशा, स्वास्थ्य समेत अनेक विभागों के समन्वित प्रयास और स्वच्छ भारत मिशन के तहत स्वच्छता जागरुकता के योगदान की सराहना की।

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