लखनऊः एक ओर ऊर्जा प्रबंधन भरपूर बिजली उपलब्ध होने का दावा कर रहा है, तो दूसरी ओर भीषण गर्मी में बिजली कटौती से लोग पसीने से सराबोर हो रहे हैं। राजधानी में ही भीषण कटौती की जा रही है। अधिकतर इलाकों में ट्रिपिंग के चलते लोगों की नींद में खलल पड़ रहा है। बिजली की बढ़ी डिमांड को पूरा कर पाने में मिसमैच सिस्टम बड़ी मुसीबत बन गया है।
सबस्टेशन, फीडर ओवरलोड हैं, तो कई बार रिपेयर कर लगाए गए ट्रांसफार्मर्स का दम फूल रहा है। इसके चलते विद्युत आपूर्ति सिस्टम सभी जगह जवाब दे रहा है। लेसा में बिजली संकट के कारणों की पड़ताल में यह सच्चाई सामने आई हैं। लेसा लखनऊ में 16 केवीए से 630 केवीए के बीच अलग-अलग कैपेसिटी के कुल 1,654 ट्रांसफार्मर लगे हैं। इनमें से अधिकांश ट्रांसफार्मर चार से अधिक बार वर्कशॉप में रिपेयर किए जा चुके हैं। चार बार से अधिक बार रिपेयर हो चुके ट्रांसफार्मरों की लाइफ समाप्त हो चुकी है, बावजूद इसके इन ट्रांसफार्मरों को सिस्टम से बाहर नहीं किया गया। लेसा में करीब 172 की संख्या में 33 केवी फीडर हैं, इनमें से 40 प्रतिशत फीडर ओवरलोड हैं। इसकी वजह यह है कि यह फीडर काफी अधिक लंबे हैं और इससे लो वोल्टेज की समस्या खड़ी हो रही है। इन 33 केवी फीडर की लंबाई करीब 1,669 किलोमीटर है। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि ये फीडर किस कदर ओवरलोड हैं।
फीडर ओवरलोड न हों, इसके लिए उन्हें छोटा करना होगा, ताकि उपभोक्ताओं को लो वोल्टेज की समस्या का सामना न करना पड़े। लोगों को जहां भीषण गर्मी झुलसा रही है, तो वहीं बिजली कटौती के चलते दोहरी मार झेलनी पड़ रही है। लेसा में ही उपभोक्ताओं को ओवरलोडिंग के चलते हो रही ट्रिपिंग की समस्या से जूझना पड़ रहा है। मार्च 2023 के आंकड़ों के अनुसार लेसा सिस गोमती में कुल विद्युत उपभोक्ताओं की संख्या 07 लाख 71 हजार 504 है और उनका कुल लोड 21 लाख 36 हजार 685 किलोवाट है। लेसा ट्रांस गोमती में विद्युत उपभोक्ताओं की संख्या 04 लाख 74 हजार 629 है और उनका कुल लोड 15 लाख 87 हजार 834 किलोवाट है। इस प्रकार राजधानी लखनऊ लेसा में कुल उपभोक्ताओं की संख्या 12 लाख 46 हजार 133 है और उनका कुल भार 36 लाख 24 हजार 519 किलोवाट है।
इन कारणों से हो रही ट्रिपिंग
लेसा सिस गोमती में 33/11 केवी सब स्टेशनों की संख्या 90 है और उनकी कुल क्षमता 1,630 एमवीए है, वहीं लेसा ट्रांस गोमती में 33/11 केवी सबस्टेशनों की संख्या 53 है और उनकी कुल क्षमता 1,098 एमवीए है। इस प्रकार से लेसा में 33/11 केवी सब स्टेशनों की क्षमता करीब 2,728 एमवीए है। यह क्षमता करीब 24 लाख 55 हजार 200 किलोवाट के करीब है। ऐसे में यह साफ है कि विद्युत उपभोक्ताओं द्वारा लिया गया भार इससे कहीं अधिक है, वहीं इस सिस्टम पर ही 15 से 20 प्रतिशत बिजली चोरी का भार भी आता है। ऐसे में जब पीक आॅवर्स में भीषण गर्मी के दौरान उपभोक्ता अपना अधिकतम भार प्रयोग करता है, तो लेसा का सिस्टम कमजोर पड़ जाता है। इसके चलते ही ट्रिपिंग समेत अन्य व्यवधान के चलते विद्युत आपूर्ति व्यवस्था बाधित होती है। राजधानी के चैक, आलमबाग, इंदिरानगर, गोमतीनगर, हजरतगंज, जानकीपुरम, कृष्णानगर, फैजुल्लागंज, पीजीआई समेत कई इलाकों में सबसे अधिक लोड है।
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