Chandauli: पीएम श्री जवाहर नवोदय विद्यालय बैराठ, चंदौली में “एप्टीट्यूड टेस्ट एवं इक्कीसवीं सदी के कौशल” विषय पर दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया, जिसमें एमएनएनआईटी प्रयागराज की विशेषज्ञ टीम ने प्रतिभाग किया। इस कार्यशाला का उद्देश्य तकनीकी साक्षरता बढ़ाना, उनकी रचनात्मकता को प्रोत्साहित करना तथा उन्हें आत्मनिर्भर बनने के लिए प्रेरित करना था।
Chandauli: कौशल की आवश्यकता पर डाला प्रकाश
इस आयोजन का प्राथमिक उद्देश्य विद्यार्थियों को अपने कौशल एवं क्षमताओं की पहचान कर उन्हें विकसित करने के साथ ही भविष्य की तकनीकी चुनौतियों के लिए तैयार करने के लिए एक मंच प्रदान करना था। विद्यालय के प्रधानाचार्य संजय मिश्रा ने कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए टीम का स्वागत किया। उन्होंने एप्टीट्यूड टेस्ट के महत्व तथा 21वीं सदी के कौशल की आवश्यकता पर प्रकाश डाला।
कार्यशाला के पहले दिन कक्षा 8 से 10 तक के विद्यार्थियों का एप्टीट्यूड टेस्ट लिया गया, जिसमें उनकी बौद्धिक क्षमता एवं रुचि का मूल्यांकन किया गया। साथ ही विशेषज्ञों द्वारा ड्रोन तकनीक पर रोचक एवं ज्ञानवर्धक सत्र आयोजित किए गए, जिसमें विद्यार्थियों को इस उभरती हुई तकनीक के विभिन्न पहलुओं से अवगत कराया गया। दूसरे दिन विद्यार्थियों को ड्रोन के सभी पार्ट्स के निर्माण की प्रक्रिया का व्यावहारिक प्रशिक्षण दिया गया। इसके तहत छात्रों की दो टीमों ने ड्रोन तैयार किए, जिन्हें सफलतापूर्वक उड़ाया भी गया।
Chandauli: छात्रों ने लिया बढ़-चढ़कर हिस्सा
कार्यशाला के दौरान छात्रों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया और ड्रोन तकनीक से जुड़े संभावित करियर विकल्पों को समझा। इस कार्यक्रम ने छात्रों को आत्मनिर्भर बनने और नए कौशल विकसित करने के लिए प्रेरित किया। कार्यक्रम में उप प्राचार्य शुभेंदु भट्टाचार्य और शिक्षक बैजनाथ, केसी चौबे, एपी तिवारी, मनोज त्रिपाठी, विनोद कुमार, महेश तिवारी और नवीन कुमार सहित अन्य शिक्षकों ने विशेष योगदान दिया।
यह भी पढ़ेंः-ऐश्वर्या-अभिषेक के तलाक के बीच श्वेता नंदा ने किया ये शानदार काम
प्राचार्य ने इस कार्यशाला को छात्रों के भविष्य निर्माण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया। छात्रों ने कार्यक्रम की काफी सराहना की और इस तरह की कार्यशालाओं की और अधिक मांग की।
(अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)