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प्रेरणास्त्रोत बनेगा श्रीमाली ब्राह्मण परिवार का अंगदान का फैसला

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जयपुरः गुजरात के सूरत शहर में श्रीमाली ब्राह्मण समाज के एक पुत्र का ब्रेन डेड होने के बाद परिजनों की ओर से किए गए अंगदान के संकल्प को पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे और केन्द्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने सराहना की है। दोनों जनप्रतिनिधियों ने आशा व्यक्त की कि श्रीमाली ब्राह्मण समाज के इस परिवार की ओर से किया गया यह फैसला अन्य समाजों व लोगों के लिए प्रेरणा का स्त्रोत बनेगा।

पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने लिखा कि अंगदान विश्व का सबसे बड़ा दान है, जो मौत से लड़ रही कई जिंदगियों को नया जीवन देता है। सौभाग्यशाली है ढाई साल के बेटे यश ओझा का परिवार, जिन्होंने इन कठिन परिस्थितियों में उसके सात अंगों को दान कर यश को अमरता प्रदान की। श्रीमाली ब्राह्मण समाज के इस परिवार ने वास्तव में परोपकार की दिशा में एक मिसाल पेश की है। क्योंकि, आज के परिदृश्य में अंधविश्वास के कारण ऐसे निर्णय लेना बहुत मुश्किल हो जाता है, लेकिन ऐसे में महर्षि दधीचि को स्मरण कर हमें अंगदान को वर्तमान समय की जरूरत समझना चाहिए।

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केन्द्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने लिखा कि यश कहीं नहीं गया, वो यहीं हैं दूसरों को जिंदगी देकर! ढाई साल का यश खेलते हुए दूसरी मंजिल से नीचे गिर गया, जिसके कारण बच्चे के सिर पर गंभीर चोट आ गई। ब्रेन में सूजन आने के कारण एक सप्ताह तक अस्पताल में उपचार के उपरांत यश को ब्रेनडेड घोषित कर दिया गया।