Mallikarjun Kharge: मंगलवार को राज्यसभा में सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच एक बार फिर तीखी नोकझोंक देखने को मिली। इस दौरान सदन के नेता जे.पी. नड्डा ने विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे की एक टिप्पणी का कड़ा विरोध किया और माफी की मांग की। हालांकि, हंगामा बढ़ता देख खड़गे ने सफाई दी कि उनकी टिप्पणी उपसभापति हरिवंश के प्रति नहीं, बल्कि सरकार की नीतियों के प्रति थी। उन्होंने कहा कि अगर उन्हें इससे ठेस पहुंची है तो वह माफी मांगते हैं।
Mallikarjun Kharge का विवादित बयान
दरअसल, कांग्रेस सांसद दिग्विजय सिंह द्वारा शिक्षा मंत्रालय के कामकाज पर चर्चा शुरू की जानी थी। दिग्विजय सिंह के बोलने से पहले राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे सदन में शोरगुल के बीच बोलने के लिए खड़े हुए। लेकिन उपसभापति हरिवंश ने उन्हें टोकते हुए कहा- आप सुबह ही बोल चुके हैं।
इस पर खड़गे ने कहा- ‘यह कैसी तानाशाही है। मैं आपसे हाथ जोड़कर विनती कर रहा हूं कि मुझे बोलने दीजिए।’ इस पर हरिवंश ने कहा- अब दिग्विजय सिंह को बोलने का मौका है, इसलिए आप बैठ जाइए। इसके बाद खड़गे ने कहा- वो तो बोलेंगे ही, लेकिन आपको क्या-क्या ठोकना है हम ठीक से ठोकेंगे, सरकार को भी ठोकेंगे।
खड़गे के बयान नड्डा ने जताई अपत्ति
खड़गे के इस बयान पर सत्ता पक्ष ने आपत्ति जताई। इस पर सदन के नेता जेपी नड्डा ने आपत्ति जताते हुए कहा, ‘यह बहुत दुख की बात है। विपक्ष के नेता जो इतने अनुभवी हैं, लंबे समय तक राज्य और संसद में रहे हैं, लोकसभा और राज्यसभा में भी नेता और सदस्य के तौर पर काम किया है, उन्होंने यहां जिस भाषा का इस्तेमाल किया, वह निंदनीय है।’
उन्होंने कहा कि विपक्ष के नेता को अपनी टिप्पणी के लिए माफी मांगनी चाहिए। उन्होंने आसन के खिलाफ जिस तरह के शब्दों का इस्तेमाल किया है, वह अस्वीकार्य है। जेपी नड्डा ने कहा कि यह भाषा क्षमाप्रार्थी नहीं है, फिर भी विपक्ष के नेता को माफी मांगनी चाहिए। उन्हें अपने शब्द वापस लेने चाहिए, नहीं तो उनके शब्दों को सदन की कार्यवाही से हटा दिया जाना चाहिए।
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मल्लिकार्जुन खड़गे ने दी सफाई
इस पर मल्लिकार्जुन खड़गे ने सफाई देते हुए कहा, “मैं माफी मांगता हूं। सर, मैंने आपके लिए कुछ नहीं कहा।” उन्होंने स्पष्ट किया कि उन्होंने यह बात सरकार की नीतियों के प्रति कही थी। विपक्ष के नेता ने कहा, “अगर आपको मेरे शब्दों से ठेस पहुंची है, तो मैं आपसे माफी मांगता हूं, लेकिन सरकार से नहीं।”
इसके बाद उन्होंने अपनी बात रखनी शुरू की। जेपी नड्डा ने कहा कि खड़गे ने अपने बयान के लिए आसन से माफी मांगी है, जो सराहनीय है, लेकिन “उन्होंने सरकार के बारे में जो शब्द इस्तेमाल किए हैं, वे भी निंदनीय हैं” और उन्हें भी कार्यवाही से हटा दिया जाना चाहिए।