भोपाल: मध्य प्रदेश विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष और वरिष्ठ कांग्रेस विधायक डॉ. गोविंद सिंह ने शनिवार को मुख्य चुनाव आयुक्त को पत्र लिखा है। अपने पक्ष में नेता प्रतिपक्ष ने मध्यप्रदेश के मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस को अक्षम बताते हुए उन्हें पद से हटाने की मांग की है। उन्होंने मुख्य चुनाव आयुक्त से किसी नए अधिकारी को मुख्य सचिव बनाने का अनुरोध किया है।
नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह ने अपने पत्र में एक अखबार में छपी खबर का हवाला देते हुए कहा है कि नेशनल ग्रीन ट्रब्यूनल की बैंच द्वारा मप्र सरकार के पूरे सिस्टम को ही अक्षम बताया गया है। मुख्य सचिव द्वारा बिना पढ़े शासन की पक्ष रखने पर पांच लाख रुपये की पेनाल्टी लगाई गई है। साथ ही टिप्पणी की गई है कि ऐसे राज्य का भगवान ही मालिक है। गोविंद सिंह ने पत्र में कहा है कि निर्वाचन आयोग निष्पक्षता से चुनाव कराने के लिए प्रतिबंध है, लेकिन मप्र में ऐसे मुख्य सचिव को सेवानिवृत्ति के उपरांत प्रदेश सरकार की अनुकंपा पर छह- छह माह के लिए सेवा वृद्धि की गई है। क्या ऐसे मुख्यसचिव के रहते मप्र में आगामी विधानसभा चुनाव पूर्व ईमानदारी और निष्पक्षता से संपन्न होंगे, यह यक्ष प्रश्न है? मेरे द्वारा पूर्व में भी इकबाल सिंह बैस की सेवा वृद्धि नहीं किये जाने हेतू आपको पत्र लिखा था।
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नेता प्रतिपक्ष ने अनुरोध किया है कि मप्र के मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैस को तत्काल पद से हटाकर किसी अन्य अधिकारी को नियमित मुख्य सचिव के पद पर नियुक्त करने हेत़ु मप्र सरकार को निर्देशित करें। गौरतलब है कि मध्य प्रदेश के मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैंस को 6 महीने का एक्सटेंशन मिला है। उनका कार्यकाल मई 2023 में खत्म होने वाला था। एक्सटेंशन 1 जून से 30 नवंबर 2023 के लिए है। बैंस 1985 बैच के आईएएस हैं। उनका रिटायरमेंट 30 नवंबर 2022 को हुआ था। तब भी राज्य सरकार ने उन्हें 6 महीने (मई 2023) तक का एक्सटेंशन दिया था।
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