अदालत का कहना है कि इन सबको ध्यान में रखते हुए एसएचओ शिकायतकर्ता की शिकायत को एफआईआर मानकर बिना देरी के आपराधिक मामला दर्ज कर इसकी जांच करे। दरअसल एक महिला ने विधायक के खिलाफ शिकायत दर्ज कराते हुए दावा किया है कि बैंस ने उसके साथ बलात्कार किया। शिकायतकर्ता ने यह भी आरोप लगाया है कि विधायक की तरफ से उसे धमकियां दी जा रही हैं। उसने ये भी कहा है कि लुधियाना पुलिस आयुक्त के सामने भी उसने शिकायत दी थी, लेकिन पिछले साल नवंबर में कोई एफआईआर दर्ज नहीं की गई थी।
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महिला का आरोप है कि संपत्ति विवाद को लेकर वो विधायक से मिलने गई थी, जिसके बाद बैंस ने अपने दफ्तर के एक कमरे में उसके साथ बलात्कार किया। शिकायतकर्ता ने कहा कि 16 नवंबर 2020 को उसने पुलिस कमिश्नर समेत कई अधिकारियों को इस संबंध में लिखित शिकायत की थी। महिला ने कहा कि वो कई बार पुलिस कमिश्नर के दफ्तर के बाहर धरना भी कर चुकी है, हालांकि इस मामले में पुलिस ने शिकायत नहीं दर्ज की। जिसके बाद उसने अदालत का रुख करते हुए अदालत में आपराधिक शिकायत दी थी। जिसके बाद कोर्ट ने मामले में पीड़िता की शिकायत को मंजूर कर पुलिस को मामले की जांच का निर्देश दिया है।