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लोकदल अध्यक्ष सुनील सिंह ने किया कटाक्ष, कहा-भाजपा सरकार ने बदल दी अपराध की परिभाषा

लखनऊः लोकदल के राष्ट्रीय अध्यक्ष चौधरी सुनील सिंह ने पीएम मोदी के बयान ‘गुंडे और माफिया प्रदेश छोड़ चुके हैं’ पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि सरकार की नजर में अपराध की परिभाषा क्या है? लखीमपुर में किसानों की हत्या को सरकार अपराध नहीं मानती हैं। केंद्र के गृह राज्य मंत्री टेनी के बेटे द्वारा किसानों की हत्या को अपराध नहीं कहेंगे तो क्या कहेंगे। उन्होंने कटाक्ष करते हुए कहा कि क्या सरकार में रहकर मंत्री अपराध करे तो उसे अपराध नहीं माना जाएगा। गृह राज्य मंत्री को बर्खास्त नहीं किया गया क्यों? कानून को आंख दिखाकर केंद्र गृह राज्य मंत्री देश और प्रदेश में घूम रहे हैं। यह सब भारतीय जनता पार्टी के चेहरे की सत्ता की लालच को दिखाता है। उन्होंने जनता से सतर्क रहने का आह्वान भी किया और साथ ही कहा कि 2022 विधानसभा चुनाव में जनता किसानों की सरकार चुनने वाली है। अबकी बार किसानों की सरकार बनेगी यानी अबकी बार उत्तर प्रदेश मुख्यमंत्री का चेहरा किसान ही होगा।

श्री सिंह ने कहा कि तीन कृषि कानून का विरोध कर रहे किसानों का ऐसा कोई दिन नही गया जब उन्हें लाठियां, कटीले तारों से प्रताड़ित न किया गया हो। उन्होंने भाजपा के कानून के राज स्थापित होने के दावे की पोल खोलते हुए कहा कि यदि उत्तर प्रदेश में सब कुछ ठीक-ठाक चल रहा है तो प्रदेश हत्या, दलित उत्पीड़न और महिलाओं के खिलाफ अत्याचार में अव्वल कैसे बन गया है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मंच से लगातार झूठ पर झूठ बोल रहे हैं। उन्होंने कहा कि राजस्थान के बाद उत्तर प्रदेश ही वो राज्य है जहां महिलाएं सबसे अधिक बलात्कार का शिकार हो रही हैं।

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उन्होंने आंकड़े प्रस्तुत करते हुए कहा कि साल 2020 में देश भर में बलात्कार के कुल 28046 मामले दर्ज किए गए, जिसमें से अकेले उत्तर प्रदेश में कुल 2,769 मामले दर्ज हुए। भाजपा राज में पुलिस ही खाकी वर्दी में भक्षक बन जाए तो प्रदेश की जनता कैसे सुरक्षित हो सकती है। सिंह ने आगे कहा कि पिछले साढ़े चार साल में कोई भी महीना ऐसा नहीं गया है, जब यूपी की 60 फीसदी आबादी डर के साए में न रही हो। अगर उत्तर प्रदेश में कानून का राज स्थापित हो चुका है फिर नागरिकों पर इतनी पाबंदी क्यों लगाई जा रही है?

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