कर्नाटक: कर्नाटक में 224 विधानसभा सीटों के लिए एक ही चरण में मतदान होगा। चुनाव आयोग ने 10 मई की तारीख तय की है। सत्ताधारी पार्टी बीजेपी एक बार फिर सत्ता में काबिज होने के लिए जोर-शोर से तैयारी कर रही है। इस बार बीजेपी के कुछ नेता टिकट बंटवारे से असंतुष्ट हैं। इन नेताओं में बीजेपी के वरिष्ठ और पूर्व डिप्टी सीएम केएस ईश्वरप्पा भी हैं, जो टिकट बंटवारे से असंतुष्ट बताए जा रहे थे। हालांकि अब ईश्वरप्पा की यह नाराजगी दूर हो गई है।
बता दें कि पीएम मोदी ने ईश्वप्पा से फोन पर बात की और उनके स्वास्थ्य के साथ चुनाव को लेकर भी बातचीत की। जिसके बाद ईश्वरप्पा ने आश्वस्त किया की बीजेपी ही चुनाव जीतेगी और इसके लिए वह अपनी पूरी ताकत से काम करेंगे। वहीं कर्नाटक चुनाव में उम्मीदवारी दाखिल करने की अंतिम तिथि 20 अप्रैल थी। इस बार बीजेपी ने सत्ता में वापसी के लिए 150 सीटें जीतने का लक्ष्य तय किया है।
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वहीं, टिकट बंटवारे से नाराज कुछ नेताओं ने पार्टी से इस्तीफा भी दिया है। इन्हीं नाराज नेताओं में से ईश्वप्पा भी थे। जो टिकट बंटवारे से असंतुष्ट बताए जा रहे थे। इस बीच बीजेपी के लिए एक और अच्छी खबर आई। कर्नाटक के मत्स्य मंत्री एसण् अंगारा ने राजनीति छोड़ने का ऐलान किया था। हालांकि अब वह अपने बयान से पलट गए है और प्रत्याशियों के लिए प्रचार करने की बात कही है।
गौरतलब है कि ईश्वप्पा शिवमेग्गा से पांच बार के विधायक रहे चुके हैं। इस बार वह अपने बेटे केई कांतेश के लिए टिकट की मांग कर रहे थे। लेकिन उनके बेटे को टिकट नहीं मिल पाया। वहीं उन्होंने गुरुवार को कहा कि वह बीजेपी से नाराज नहीं है। बीजेपी छोड़कर गए नेताओं को हम वापस लाएंगे और बीजेपी एक बार फिर सत्ता में पूर्ण बहुमत से आएगी।
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