हिन्द महासागर में उभरती चुनौतियों से निपटेंगी भारत-अमेरिकी नौसेनाएं

नई दिल्ली: भारत और अमेरिका की नौसेनाएं समुद्री मोर्चे पर उभरती चुनौतियों से निपटने एवं हिंद महासागर क्षेत्र (आईओआर) में समुद्री सुरक्षा सुनिश्चित करने में एक-दूसरे का सहयोग करेंगी। इसके साथ-साथ दोनों नौसेनाओं ने आपसी संबंधों को और बढ़ाने के मुद्दों पर चर्चा की है।

पांच दिवसीय भारत दौरे पर आए अमेरिकी नौसेना के नौसेना संचालन प्रमुख (सीएनओ) एडमिरल माइकल गिल्डे ने पत्नी लिंडा गिल्डे और उच्च स्तरीय अमेरिकी प्रतिनिधिमंडल के साथ पश्चिमी नौसेना कमान मुख्यालय का दौरा किया। उन्होंने पश्चिमी नौसेना कमान के कमांडिंग-इन-चीफ वाइस एडमिरल आर हरि कुमार और अन्य वरिष्ठ नौसेना अधिकारियों के साथ वार्ता की।

नौसेना प्रवक्ता के अनुसार वार्तालाप के दौरान दोनों देशों और इनकी नौसेनाओं के बीच बढ़ते सहयोग को मजबूत करने, समुद्री मोर्चे पर उभरती चुनौतियों से निपटने एवं हिंद महासागर क्षेत्र (आईओआर) में समुद्री सुरक्षा सुनिश्चित करने में सहयोग के साथ-साथ आपसी संबंधों को और बढ़ाने जैसे मुद्दों पर चर्चा की गई। उन्हें पश्चिमी नौसेना कमान की क्षेत्रीय सुरक्षा गतिशीलता और परिचालन प्रतिक्रियाओं के बारे में जानकारी दी गई। इसमें विशेष रूप से मित्रवत विदेशी देशों को मानवीय सहायता और आपदा राहत (एचएडीआर), समुद्री डकैती रोधी अभियान, समुद्री सुरक्षा और विदेशी सहयोग को मजबूत करना शामिल है।

दोनों देशों की वार्ता में कोरोना काल के दौरान देश में मेडिकल ऑक्सीजन की जरूरतों को पूरा करने के लिए चलाए गए ऑपरेशन समुद्र सेतु-II में मित्र देशों से ऑक्सीजन सप्लाई लाने में भारतीय नौसेना के जहाजों की भूमिका का उल्लेख किया गया। सीएनओ ने ”फ्यूचर ऑफ वारफेयर” पर वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से पश्चिमी नौसेना कमान, दक्षिणी नौसेना कमान और भारतीय नौसेना के विभिन्न प्रशिक्षण प्रतिष्ठानों के अधिकारियों को भी संबोधित किया। उन्होंने मझगांव डॉक लिमिटेड का भी दौरा किया।

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श्रीमती लिंडा गिल्डे ने एचक्यूडब्ल्यूएनसी का दौरा किया और भारतीय नौसेना की महिला अधिकारियों के साथ संवाद किया। सीएनओ की यात्रा भारत और अमेरिका के बीच निरंतर और नियमित रूप से जारी वार्तालाप का एक महत्वपूर्ण अंग है ताकि दोनों देशों के बीच व्यापक वैश्विक रणनीतिक साझेदारी को और मजबूत किया जा सके।

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