स्वदेश निर्मित मिसाइल कार्वेट आईएनएस ‘कृपाण’ (ins kirpan)1991 में अपनी स्थापना के बाद से भारतीय नौसेना के पूर्वी बेड़े का एक अभिन्न अंग रहा है और पिछले 32 वर्षों में कई अभियानों में भाग लिया है। जहाज 90 मीटर लंबा, 10.45 मीटर चौड़ा है और इसका अधिकतम विस्थापन 1450 टन है। जहाज को आज पूरे हथियारों के साथ वियतनाम पीपुल्स नेवी को सौंप दिया गया है। यह मध्यम और करीबी दूरी की बंदूकों, लॉन्चरों और सतह से सतह पर मार करने वाली मिसाइलों से लैस है। यह सतही युद्ध, तटीय और अपतटीय गश्त, तटीय सुरक्षा, समुद्री डकैती रोधी और बहुत कुछ में विभिन्न प्रकार की भूमिकाएँ निभाने में सक्षम है। इससे निश्चित रूप से दोनों नौसेनाओं के बीच मौजूदा द्विपक्षीय संबंध और मजबूत होंगे।
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रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने की थी वियतनाम को उपहार देने की घोषणा
नौसेना प्रमुख एडमिरल आर. हरि कुमार इस समय वियतनाम की आधिकारिक यात्रा पर हैं। एडमिरल कुमार वियतनाम पीपुल्स नेवी के सीआईएनसी, वाइस एडमिरल ट्रान थान नघिएम के साथ द्विपक्षीय वार्ता के लिए हाई फोंग स्थित नौसेना मुख्यालय का भी दौरा करेंगे। इस दौरान वह वियतनाम के राष्ट्रीय रक्षा मंत्री से भी मुलाकात करेंगे। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने 19 जून को दौरे पर आए वियतनामी राष्ट्रीय रक्षा मंत्री जनरल फान वान गैंग के साथ द्विपक्षीय वार्ता के बाद मिसाइल कार्वेट आईएनएस ‘कृपाण’ के उपहार की घोषणा की थी। यह मिसाइल कार्वेट के खुकरी वर्ग का तीसरा जहाज है और इसे गार्डन रीच शिपबिल्डर्स एंड इंजीनियर्स द्वारा बनाया गया था।
आईएनएस कृपाण 28 जून को भारतीय तिरंगे के नीचे वियतनाम के लिए अपनी आखिरी यात्रा पर नौसेना डॉकयार्ड विशाखापत्तनम से रवाना हुई। मिसाइल कार्वेट के रवाना होने से पहले उससे भारतीय नौसेना का झंडा उतारा गया। पूर्वी नौसेना कमान के चीफ ऑफ स्टाफ वाइस एडमिरल संजय वात्सायन के नेतृत्व में एक औपचारिक समारोह में अधिकारियों और कर्मियों ने जहाज को विदाई दी। मिसाइल कार्वेट 08 जुलाई को कैम रैन, वियतनाम पहुंचा, जिसके लिए वियतनाम पीपुल्स नेवी (वीपीएन) को सौंपने का एक समारोह आज कैम रैन में आयोजित किया गया।
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