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नैंसी पेलोसी की ताइवान यात्रा के बाद चीन ने खोया आपा, जापान तक दागी मिसाइलें

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बीजिंगः अमेरिकी प्रतिनिधि सभा की अध्यक्ष नैंसी पेलोसी की ताइवान यात्रा से गुस्साए चीन ने सात यूरोपीय देशों के समूह जी-7 के राजदूतों को तलब करके उनसे जवाब मांगा है। चीन की दागी मिसाइलें जापान तक पहुंच गयी हैं। चीन ने ताइवान सीमा पर सौ युद्धक विमान भी उड़ाए हैं, जिनमें से 22 ताइवान में घुस गए। ताइवान ने चीन की इस हरकत पर जोरदार आपत्ति दर्ज कराई है। अमेरिकी प्रतिनिधि सभा की अध्यक्ष नैंसी पेलोसी की ताइवान यात्रा के बाद से भड़का चीन लगातार आक्रामक रुख अख्तियार कर रहा है। जापान ने ताइवान की सीमा पर युद्धाभ्यास शुरू कर छद्म युद्ध का वातावरण बना दिया है। इसके बाद अमेरिका, इंग्लैंड, इटली, जर्मनी, फ्रांस, कनाडा और जापान की सदस्यता वाले समूह जी-7 की ओर से बयान जारी कर ताइवान की सीमा पर चीन के सैन्य अभ्यास को गलत करार दिया गया था। इन देशों ने इस युद्धाभ्यास को तत्काल रोकने की बात भी कही थी। इसके बाद चीन ने इन देशों के बयान को अपने आंतरिक मामलों में दखल करार देकर इन सातो देशों के राजदूतों को तलब किया। राजदूतों के माध्यम से चीन ने उनके देश द्वारा जारी बयान का औपचारिक विरोध दर्ज कराया है।

उधर नैंसी पेलोसी अपनी यात्रा जारी रखते हुए जापान पहुंच गयी हैं। जापान से पहले ही गुस्साए चीन ने पांच मिसाइलें दागी, जो जापान में जाकर गिरीं। इस पर जापान ने कड़ा विरोध दर्ज कराया है। जापान पहुंची नैंसी पेलोसी ने कहा कि चीन ताइवान को अलग-थलग करना चाहता है, किन्तु हम ऐसा नहीं होने देंगे। उन्होंने कहा कि चीन उनकी यात्रा का कार्यक्रम नहीं तय करेगा और उन्हें ताइवान की यात्रा करने से रोक भी नहीं सकेगा। अमेरिका और चीन जैसे देशों के बीच संवाद को जरूरी करार देते हुए उन्होंने कहा कि यदि अमेरिका ने चीन के साथ अपने व्यावसायिक हितों के कारण वहां होने वाले मानवाधिकार उल्लंघन के बारे में बोलना बंद कर दिया, तो अमेरिका दुनिया में कहीं भी मानवाधिकार हनन पर बोलने के सभी नैतिक अधिकार खो देगा।

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चीन का गुस्सा लगातार ताइवान पर उतर रहा है। चीन ने ताइवान की सीमा पर 100 युद्धक विमान उड़ाए। इनमें से 22 चीनी विमान ताइवान के वायु रक्षा क्षेत्र में भी प्रवेश कर गए थे। ताइवान ने चीन की इस हरकत फाइटर जेट उड़ाए। हालांकि, ताइवान ने भी पीछे हटने से इंकार कर दिया। इससे पहले खबर आई थी कि 22 चीनी विमान ताइवान के वायु रक्षा क्षेत्र में भी घुस गए थे। ताइवान ने चीन की इस हरकत का विरोध करते हुए कहा कि चीन बिल्कुल उत्तर कोरिया की तरह बर्ताव कर रहा है। ताइवान के विदेश मंत्रालय ने कहा कि चीन जानबूझकर उकसाने वाली हरकतें कर रहा है, जो निंदनीय है।

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