Bijnor , बिजनौर: उत्तर प्रदेश के बिजनौर में एक सरकारी स्कूल में एक मुस्लिम महिला टीचर की जेहादी मानसिकता का चौंकाने वाला मामला सामने आया है। यह महिला टीचर स्कूल आने वाले हिन्दू बच्चो को तिलक न लगाने को मना करती है जबकि मुस्लिम छात्रों को टोपी पहनकर आने को कहती। फिलहाल मामला सामने आने के बाद बीएसए ने जांच के आदेश दिए हैं।
हिंदू छात्रों को तिलक लगाकर आने पर रोक
बता दें कि मामला बिजनौर के भनेड़ा गांव के बनेड़ा हायर सेकेंडरी स्कूल का है। यहां हिंदू छात्रों ने आरोप लगाया है कि उन्हें तिलक लगाकर स्कूल आने की इजाजत नहीं है, अगर वे ऐसा करते हैं तो उनका तिलक मिटा दिया जाता है, जबकि मुस्लिम छात्रों को टोपी पहनकर आने को कहा जाता है। इतना ही नहीं मुस्लिम बच्चों को जबरन जुमे की नमाज अदा करने के लिए मस्जिद ले जाया जाता है।
उधर, मामला सामने आने के बाद बीएसए (BSA) ने जांच के आदेश दिए हैं. कक्षा छह के छात्र मयंक ने बताया कि उसकी टीचर आयशा ने उसे तिलक लगाकर आने से मना किया था। वह सभी को तिलक लगाकर आने से रोकती हैं, लेकिन कुछ छात्र टोपी पहनकर आते हैं, इसलिए उन्हें नहीं रोका जाता।
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जांच दिए आदेश
मामले को लेकर आरएसएस के खंड कार्यवाह रोहित ने बताया कि हमारी शाखा में 50 बच्चे आते हैं। उन्होंने बताया कि मुस्लिम बच्चे अगर टोपी पहनकर आते हैं तो शिक्षक उन्हें नहीं रोकते, लेकिन हिंदू बच्चों को चोटी रखने और तिलक लगाने से मना किया जाता है। मामले का संज्ञान लेते हुए बीएसए ने स्कूल का निरीक्षण किया और जांच के आदेश दिए। BSA योगेंद्र कुमार ने बताया कि मामले की जांच तत्काल प्रभाव से एबीएसए को सौंप दी गई है। बीएसए का कहना है कि मुस्लिम शिक्षकों को स्कूल में उचित ड्रेस पहनकर आना चाहिए।