Home फीचर्ड Bathua Benefits: साग नहीं औषधि है बथुआ, लीवर हेल्दी रखने के साथ...

Bathua Benefits: साग नहीं औषधि है बथुआ, लीवर हेल्दी रखने के साथ ही इम्यून सिस्टम को बनाता है स्ट्रांग

नई दिल्लीः बथुआ का नाम आते ही साग प्रेमियों के मुंह में पानी आने लगता है। सागों का सरदार कहे जाने वाले बथुआ सबसे अच्छा आहार है। अनादि काल से भारत में साग और रायता बनाकर खाये जाने वाले इस खाद्य पदार्थ में न सिर्फ स्वाद है बल्कि इसमें अनेक पोषक तत्व भी हैं। बथुआ में विटामिन बी1, बी2, बी3,बी5, बी6, बी9 और सी भरपूर मात्रा में पाया जाता है। बथुए में कैल्शियम, लोहा, मैग्नीशियम, मैगनीज, फास्फोरस, पोटेशियम , सोडियम व जिंक जैसे मिनरल्स भी मिलते हैं। 100 ग्राम कच्चे बथुवे के पत्तों में 07.30 ग्राम कार्बोहाइड्रेट, 04.20 ग्राम प्रोटीन व 04 ग्राम पोषक रेशे होते हैं। इतनी मात्रा में कुल 43 कैलोरी मिलती है।

मांसाहार से अधिक प्रोटीन
बथुआ को मट्ठा, लस्सी या दही में मिलाकर भी खाया जाता है। ऐसा करने से यह किसी भी मांसाहार से ज्यादा प्रोटीन वाला खाद्य पदार्थ बन जाता है। इतना ही नहीं, किसी भी अन्य खाद्य पदार्थ से ज्यादा सुपाच्य व पौष्टिक आहार भी है। बाजरे या मक्का की रोटी, मक्खन व गुड़ की डली के साथ बथुआ को खाने के लिए देवता भी तरसते हैं।

गर्भवती महिलाओं के लिए है रामबाण
बथुआ गर्भवती महिलाओं के लिए सबसे फायदेमंद है। यह एक औषधि के रूप में रामबाण है। आजकल गर्भवतियों के इलाज के दौरान हर चिकित्सक विटामिन की गोलियां खाने की सलाह दे रहा है। खासतौर पर विटामिन बी, सी व आयरन की गोली बताई जा रही है। बथुए में यह सब है। बथुआ का सेवन पहलवानों से लेकर गर्भवती महिलाओं और बच्चों से लेकर बूढों तक के लिए अमृत है। प्रतिदिन बथुआ का साग खाने से गुर्दों में पथरी नहीं होती। अमाशय भी बलवान बनता है। गर्मी से बढ़ा हुआ यकृत ठीक होता है। इसका सेवन निरोग जीवन का सबसे उत्तम औषधि है।

ये भी पढ़ें..चेहरे, हाथ-पैर में सुन्नपन को न करें इग्नोर, इस गंभीर बीमारी…

रोग प्रतिरोधक क्षमता में करता है इजाफा
सर्दियों के मौसम में कई तरह की बीमारियां होती हैं। ऐसे में बथुआ एक औषधि की तरह कार्य करता है। बथुए को भोजन में शामिल करने से रोग प्रतिरोधक क्षमता में इजाफा होता है। बथुए को रोजाना खाने से सूजन की समस्या भी दूर होती है। इसके साथ ही सूजन वाली जगह पर बथुए के पत्तों को पीसकर लगाने से भी आराम मिलता है।

दांतों के सड़न दूर करने में लाभकारी
बथुआ औषधीय गुणों से भरपूर होता है। यह शरीर के साथ ही दांतों के सड़न को भी दूर करता है। अगर दांतों में सड़न है या फिर पायरिया की समस्या है। तो रोजाना बथुए की चार या पांच पत्तियां कच्चा चबाएं। ऐसा करने से दांतों की समस्या दूर हो जाएगी। साथ ही मुंह से दुर्गंध आने की परेशानी भी खत्म हो जाएगी।

(अन्य खबरों के लिए हमें फेसबुक और ट्विटर पर फॉलो करें व हमारे यूट्यूब चैनल को भी सब्सक्राइब करें)

Exit mobile version