बाराबंकीः जनपद में हुई सड़क हादसे में 18 लोगों के मौत का कारण बनने वाली बस के कमियों की परत दर परत खुलती जा रही है। यह बस यूपी के रामपुर जिले में रजिस्टर्ड थी और इसी वर्ष रजिस्ट्रेशन का ट्रांसफर सीवान जिले में हुआ था। इसका परमिट समाप्त हो चुका था, इसके बावजूद यह बस एक राज्य से दूसरे राज्य सड़कों पर फर्राटा भर रही थी। प्रवर्तन विभाग की जांच में इसकी कमियों की कड़ी खुलती जा रही है।
थाना रामसनेही घाट इलाके से होकर गुजरने वाले अयोध्या-लखनऊ राजमार्ग पर मंगलवार देर रात को हुए हादसे में 18 लोगों की दुखद मृत्यु हो गयी और दर्जनों गम्भीर रूप से घायल हो गए थे। इस घटना पर राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री के साथ मुख्यमंत्री ने भी गहरा दुख जताया और पीड़ित परिवार के प्रति अपनी संवेदना प्रकट की थी। इस घटना को संज्ञान में लेने के बाद प्रशासन हरकत में आया और अपनी कार्रवाई शुरू कर दी।
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प्रवर्तन विभाग की जांच में जो सामने आया उसमें सबसे महत्वपूर्ण यह था कि इस बस का परमिट पांच माह पूर्व अर्थात फरवरी 2021 में ही समाप्त हो चुका था। इसके बावजूद यह बस राज्य दर राज्य हाईवे पर फर्राटा दौड़ रही थी। वर्ष 2014 में इस बस का रजिस्ट्रेशन रामपुर जिले से हुआ था, जिसे बाद में इसी वर्ष बिहार के सीवान ट्रांसफर करा लिया गया था। यह बस मूलतः बिहार के सीवान जिले में रहने वाले इसके स्वामी की थी। इस बस का नम्बर यूपी 22-टी-7918 है। अभी जांच जारी है और न जाने कितने पेंच इस बस के संचालन में है।