ढाकाः ढाका की अदालत ने दो दशक पहले प्रधानमंत्री शेख हसीना की हत्या की साजिश रचने के आरोप में 14 आतंकवादियों को मौत की सजा सुनाई है। इन आरोपितों पर आरोप है कि इन्होंने साल 2000 में प्रधानमंत्री को मारने के लिए पहले गोपालगंज के कोटालीपारा में 76-76 किलो के दो बम प्लांट किये थे। ढाका स्पीडी टर्मिनल के जज अबु जाफर मोहम्मद कमरूजम्मान ने मंगलवार को सजा का ऐलान किया।
मौत की सजा पाने वालों में मफीजुर रहमान, महमूद अजहर, वदूद शेख उर्फ गाजी खान, रशेदुज्म्मान, अजीजुल हक, लोकमान, तारीक, युसुफ उर्फ मोशाब मोरोल, मोशाब हसन उर्फ राशू, शेख मोहम्मद इनामुल हक, सरवार होसेन, अनीसुल इस्लाम, रफीकुल इस्लाम खान और अमीरुल इस्लाम हैं। सजा का ऐलान करने के समय सभी आरोपितों को कोर्ट में लाया गया। इसके साथ-साथ आसपास के इलाकों में सुरक्षा भी बढ़ा दी गई।
साल 2000 में पुलिस ने कोटालीपारा में स्थित स्कूल में 76-76 किलो के दो बम मिले थे, यहां पर प्रधानमंत्री चुनाव प्रचार रैली को संबोधित करने वाली थी। बम बरामद होने के बाद तीन मामले दर्ज किए गए, पहला हत्या का प्रयास, प्रधानमंत्री की हत्या के लिए साजिश रचना, राजद्रोह और विस्फोटकों का प्रयोग करना। इन्हीं आरोपों पर आज सजा सुनाई गई।